पटना : बिहार साहित्य सम्मेलन में चल रहे ‘चौदस दिवस मेला’ में आज वरिष्ट लेख़क ‘रामलषण राम रमण’ की पुस्तक ‘दारू का जनाज़ा’ का लोकार्पण हुआ। इस मौके पर 16 वर्षों के बाद मंच से बोलते हुए रामलषन जी ने कहा कि ‘राजनीति में सच की गुंजाइश नहीं है और साहित्य में झूठ की जगह नहीं’। इसी मौके पर कालिंदी त्रिवेदी जी की किताब ‘काल पेखरू’ का भी लोकार्पण हुआ।
कार्यक्रम में अपने स्वागत भाषण में साहित्य सम्मेलन के उपाद्यक्ष डॉ. अरुणोदय ने कहा कि सभी घर यह संकल्प लें कि नई पीढ़ी को हिन्दी साहित्य से जोड़ें। इस मौके पर मंच पर उपस्थित 14 साहित्यकारों को अंग वस्त्र औऱ प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।
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