पटना : हस्तकरघा बुनकरों द्वारा बनाया जाने वाला उत्पाद घर-घर तक पहुंचाने का प्रयास सरकार कर रही है। हर हाथ को काम मिले, इस मिशन को पूरा करने में सरकार लगी हुई है। हस्तकरघा बुनकरों के हुनर को यदि बढ़ावा दिया जाय तो इनके उत्पादों की मांग भारत ही नहीं, पूरी दुनिया में होने लगेगी। इनके बनाए सामानों की बिक्री तो बढ़ेगी ही, इनके रोज़ी-रोटी की समस्या भी खत्म हो जाएगी। राजधानी पटना में नेशनल हैंडलूम एक्सपो के उदघाटन के अवसर पर बिहार सरकार में उद्योग निदेशक के पद पर तैनात पंकज सिंह ने ये बातें कहीं।
हस्तकरघा एवं रेशम निदेशक तकनीकी विकास बिहार के रविन्द्र प्रसाद ने कहा कि इस तरह के आयोजन होते रहने चाहिए। इससे प्रदेश के बुनकरों के साथ-साथ देश भर से आए हुए बुनकरों की पहचान बनती है। व्यस्त लाइफस्टाइल होने की वजह से लोग अपने ही देश के बुनकरों की कारीगरी और हुनर से अनजान हैं। सबसे बड़ी बात तो ये है कि लोगों को देशभर के अच्छे-अच्छे उत्पाद एक जगह मिल जाते हैं। उन्होंने कहा कि बिहार सरकार बुनकरों की समस्या को लेकर बेहद गंभीर है। आगे सरकार कुछ ऐसी योजना लाने जा रही है जिससे बुनकरों को निश्चित तौर पर बहुत फायदा मिलेगा। बिहार सरकार हस्तकरघा बुनकरों के सहयाता के लिए हर तरह के मंच देने को तैयार है।
बिहार स्टेट शीप एंड ऊल विभर्स कोऑपरेटिव यूनियन लिमिटेड के अध्यक्ष रामवृक्ष पाल ने कहा कि बिहार सरकार को इस तरह के मेले का आयोजन अपने स्तर से भी करने का प्रयास करना चाहिए।रामवृक्ष पाल ने कहा कि दूसरे प्रदेशों में हस्तकरघा बुनकरों के लिए जिस तरह के आर्थिक सहयोग वहां की सरकार करती है उसी तरह का सहयोग बिहार सरकार को यहां के बुनकरों के लिए करना चाहिए। जिस तरह से प्रदेश के बुनकर रोज़गार के लिए पलायन कर रहे हैं, वो चिंता का विषय है।सरकार को इसके समाधान के लिए कदम उठाना चहिए।
वहीं नेशनल हैंडलूम एक्सपो के आयोजक और स्टेट शीप एंड ऊल विभर्स कोऑपरेटिव के प्रबंध निदेशक अशोक कुमार ने बताया कि पटना में पहली बार ऐसा हैंडलूम मेला लगा है जिसमे पॉलीथिन पूरी तरह से प्रतिबंधित है। कपड़े से बने बैग में ही लोग सामान खरीद रहे हैं और ले जा रहे हैं।संघ के द्वारा कपड़ो से बना बैग भी वितरित किया गया है।उन्होंने बताया कि हैंडलूम मेला 16 दिनों तक चलेगा।इस मेले में देशभर के हस्तकरघा बुनकर आय हुए हैं। उन्होंने बताया कि पिछली बार जो मेला पटना में लगा था उसमें दो करोड़ से ज्यादा की बिक्री हुई थी। इस बार के आयोजन में मेला देखने और समान खरीदने वाले लोगों की संख्या बढ़ने के आसार हैं। उन्होंने बिहार सरकार की तारीफ करते हुए कहा कि सरकार बुनकरों के लिए कई योजनाएं लाई हैं जिनका लाभ बुनकरों को मिल भी रहा है ।उनके द्वारा बनाये गए समान विभिन्न माध्यमों से लोगों तक पहुंचाने का प्रयास सरकार कर रही है।
(मानस दुबे)