गरीबी नहीं गरीब को खत्म करना चाहती है कांग्रेस: विनय सहस्त्रबुद्धे
मध्यप्रदेश में विधानसभा की 24 सीटों पर होने वाले उपचुनाव को लेकर भाजपा और कांग्रेस नेता के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। भाजपा के कद्दावर नेता व मध्य प्रदेश के प्रभारी विनय सहस्त्रबुद्धे ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि कांग्रेस गरीबी नहीं गरीबों को खत्म करना चाहती है।
हाल ही में सम्पन्न हुए राज्यसभा चुनाव में मध्यप्रदेश कांग्रेस ने दो उम्मीदवार को मैदान में उतारा था। इनमें से एक कांग्रेस के दिग्गज नेता व प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह व दूसरे उम्मीदवार फूल सिंह बरैया को उम्मीदवार बनाई थी। संख्याबल के अनुसार कांग्रेस 1 सीट ही जीत सकती थी। वहीं भाजपा संख्याबल के आधार पर 2 सीटें आसानी से जीत सकती थी। इसलिए भाजपा ने कांग्रेस से बगावत कर भाजपा में शामिल हुए ज्योतिरादित्य सिंधिया तथा सुमेर सिंह सोलंकी को उम्मीदवार बनाया था और दोनों आसानी से चुनाव जीत गए।
दरअसल, विनय सहस्त्रबुद्धे ने यह बयान इसलिए दिया है क्योंकि आने वाले समय में मध्य प्रदेश में 24 सीटों पर उपचुनाव होने वाले हैं। इन 24 सीटों में से 6 सीट अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित है तथा कुछ अन्य सीटों पर अनुसूचित जाति तथा जनजाति के मतदाता निर्णायक भूमिका में होते हैं। विनय सहस्त्रबुद्धे समेत अन्य भाजपा नेताओं का कहना है कि राज्यसभा चुनाव में कांग्रेस की दलित विरोधी छवि देखने को मिली, क्योंकि कांग्रेस को पता था कि वे राज्यसभा में एक ही उम्मीदवार को जीत दिला सकते हैं बावजूद इसके कांग्रेस ने दलितों का अपमान करने के उद्देश्य से प्राथमिक उम्मीदवार के तौर पर दिग्विजय सिंह तथा दूसरे उम्मीदवार के रूप में दलित नेता फूल सिंह बरैया को चुनावी मैदान में उतारा।
वहीं भाजपा ने सबका साथ सबका विश्वास की राह पर चलते हुए अनुसूचित जाति से ताल्लुक रखने वाले सुमेर सिंह सोलंकी तथा सिंधिया को उम्मीदवार बनाया और दोनों जीतकर उच्च सदन जाएंगे। विनय सहस्त्रबुद्धे ने आगे कहा कि इस कारनामे के बाद एक बार फिर यह स्पष्ट हो गया कि कांग्रेस गरीबी नहीं गरीब को हटाने की प्राथमिकता पर चल रही है।
विदित हो कि आगामी विधानसभा के उपचुनाव के परिणाम तय करेंगे कि मध्य प्रदेश में किसकी सरकार रहेगी।