ABVP का 62वाँ प्रांतीय अधिवेशन 9 और 10 को, तारकिशोर होंगे उद्घाटनकर्ता
पटना : अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद बिहार प्रदेश का 62वी प्रांतीय अधिवेशन पटना में 9-10 जनवरी 2021 को प्रेमचंद्र रंगशाला में होन वाला है। इस अधिवेशन के उद्घाटनकर्ता बिहार सरकार के उपमुख्यमंत्री तारकेश्वर प्रसाद होंगे। साथ ही विशिष्ट अतिथि निधि त्रिपाठी होंगी। बिहार प्रदेश अध्यक्ष शैलेश्वर प्रसाद और बिहार प्रदेश मंत्री लक्ष्मी रानी मौजूद रहेंगी।
प्रांतीय अधिवेशन की शुरुआत 9 को
विद्यार्थी परिषद द्वारा आयोजित इस अधिवेशन का मुख्य उद्देश्य है कि नव तरुणाई में भारत को पुन: विश्व गुरु बनना। विद्यार्थी परिषद के पदाधिकारियों ने बताया कि परिषद भारत के व्यापक हित से संबंधित समस्याओं की ओर बार-बार ध्यान दिलाया है। इसके साथ ही प्रांतीय अधिवेशन के बारे में जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि प्रांतीय अधिवेशन की शुरुआत 9 तारीख को दोपहर 2:00 बजे से होगी और यह कार्यक्रम 10 तारीख को संध्या 4:00 बजे समाप्त होगी। इस कार्यक्रम में जिला स्तर के पदाधिकारी शामिल होंगे। इसमें कुल 200 लोग शामिल होंगे ।
दो प्रस्ताव होंगे पारित
इसके साथ ही अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद स्वागत समिति के अध्यक्ष दीपक चौरसिया ने बताया कि परिषद का उद्देश छात्र हित और राष्ट्र हित है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इस अधिवेशन में दो प्रस्ताव पारित होंगे। इस अधिवेशन में बिहार के प्रत्येक जिला से जिला स्तरीय पदाधिकारी शामिल होंगे। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि इस अधिवेशन में नई शिक्षा नीति को लेकर चर्चा होगी। इसके अलावा सांगठनिक स्तर पर विद्यार्थी परिषद में और मजबूती कैसे आए इस विषय पर भी चर्चा होगी। उन्होनें बताया कि प्रांतीय अधिवेशन 1989 में बाद एक बार फिर से पटना में होगा यह पाटलिपुत्र के लिए बहुत बड़ा सौभाग्य है।
छात्र हित को लेकर काम करती है परिषद
इसके अलावा उन्होंने कहा कि विद्यार्थी परिषद देश का एकमात्र ऐसा परिषद है जो सिर्फ और सिर्फ छात्र हित को लेकर काम करती है बाकी सारी संगठन राजनीतिक भावना में आकर काम करती है। उन्होंने वामपंथी संगठनों पर आरोप लगाते हुए कहा कि इन संगठनों के लिए सबसे पहले अपना हित है फिर देश हित और छात्र हित।
इसके साथ ही इस अधिवेशन के व्यवस्था प्रमुख सुधांशु ने बताया कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए इस अधिवेशन में आने वाले सभी लोगों को सेनीटाइज किया जाएगा साथ सब थर्मल स्क्रीनिंग के बाद ही प्रवेश करने को मिलेगा। साथ ही उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण के दौर में विद्यार्थी परिषद द्वारा भीम परिषद की पाठशाला चलाई गई थी। इस पाठशाला का मुख्य उद्देश्य था कि आसपास के युवाओं को शिक्षा के प्रति जागरूक करना।