शांतिपूर्ण एवं सौहार्द वातावरण में मनाया गया मुहर्रम
मधुबनी : जिले के बिस्फी प्रखंड क्षेत्र में लॉकडाउन को देखते हुए शांति पूर्ण व्यवस्था बनाये रखने को लेकर प्रशासन ने दिखाया अपनी जलवा शांति व्यवस्था बनाये रखने को लेकर फैलेंग मार्च कर लोगों को अपनी पैगाम दिया। वहीं नरसाम, परसौनी, भैरवा,बलहा, पतौना, तिसी, गढिया सहित एक दर्जन से अधिक गांव में रविवार को मुस्लिम समुदाय के लोगों ने शांतिपूर्ण एवं सौहार्द वातावरण में मोहर्रम पर्व मनाया लोगों ने लॉक डाउन का पालन करते हुए सोशल डिस्टेंस को ध्यान में रखकर एवं मास्क लगाकर घर पर ही मुहर्रम मनाया।
इस मौके पर जुलूस एवं भीड़भाड़ इकट्ठा नहीं हो सका अल्पसंख्यक समुदाय के लोग ने ताजिया जुलूस एवं लाठी-डंडे का प्रदर्शन भी नहीं किये लोगों ने सरकार के दिशा निर्देश के अनुसार अक्षर से पालन करते हुए शांतिपूर्ण ढंग से मनाया इसको लेकर शिया सुन्नी बोर्ड ने भी घर पर ही मनाने की अपील की थी। प्रशासन के द्वारा दो दर्जन से अधिक दंडाधिकारी के नेतृत्व में पुलिस बल तैनात की गई थी कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच मुहर्रम पर्व शांतिपूर्ण ढंग से मनाया गया।
जिसको लेकर बेनीपट्टी एसडीएम अशोक कुमार मंडल, डीएसपी अरुण कुमार सिंह, सर्किल इंस्पेक्टर राजेश कुमार, बीडीओ अहमर अबदाली सीओ प्रभात कुमार, सीआई बंसत झा, बिस्फी थाना अध्यक्ष उमेश पासवान, औंसी ओपी प्रभारी कुणाल कुमार, पतौना ओपी प्रभारी बिजय पासवान, बीईओ बिमला कुमारी, महेश पासवान ने इसको लेकर प्रखंड क्षेत्र में फैलेंग मार्च कर जायजा करते रहे लोगों से ताजिया जुलूस नही निकालने की अपील की। ताजिया अखाड़ा के सभी सदस्य शांतिपूर्ण ढंग से मोहर्रम बनाने की सलाह दी गई। इस मौके पर प्रखंड प्रमुख शीला देवी, मुखिया संघ के अध्यक्ष गगानाथ झा, मुखिया मो0 अनायतुल्लाह खां, मो0 साकिर हुसैन, मो0 सालेहीन, मो0 कपिल, मो0 रिंकू सरपंच रहमत आलम सहित कई लोगों ने शांतिपूर्ण ढंग से मुहर्रम मनाने को लेकर मुस्लिम समुदाय लोगों के प्रति ख़ुशी इजहार किया।
पर्यावरण को प्रदूषण से बचाने के लिए युवाओं ने किया पौधरोपण
मधुबनी : पर्यावरण संरक्षण के लिए मोर्निंग वाक ग्रुप जयनगर के युवाओं के द्वारा देवधा के कबीर कुटी परिसर में मॉर्निंग वॉक ग्रुप के युवाओं ने मॉर्निंग वॉक के दौरान तिरपनवें सप्ताह में भी पेड़ लगाने का कार्यक्रम किया गया। इस अवसर पर देवधा उत्तरी के मुखिया योगेंद्र पूर्वे ने कहा कि पेड़-पौधा के बिना जीवन संभव नहीं है। वृक्ष की रक्षा कर हम आने वाली पीढ़ी को स्वच्छ एवं शुद्ध वातावरण उपहार स्वरूप भेंट कर सकते हैं, वृक्ष लगाने के कई फायदे हैं। उन्होंने कहा कि पर्यावरण की रक्षा के लिए सबको सजग होना पड़ेगा। पर्यावरण के प्रति लोगों को जागरूक होना होगा।
वहीं, सुड़ी युवा शक्ति, देवधा के अध्यक्ष सह समाजसेवी युवा हरेराम चौधरी ने कहा कि पर्यावरण संरक्षण हर किसी की जिम्मेदारी है। इसको लेकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है। जलवायु परिवर्तन के कारण वर्षापात का अभाव, भूजल में गिरावट, पेयजल संकट, बाढ़ और सुखाड़ की समस्या लगातार बढ़ रही है। इसके निदान के लिए पौधारोपण काफी आवश्यक है।
इस अवसर पर देवधा उत्तरी के मुखिया योगेंद्र पूर्वे, सूड़ी युवा शक्ति के अध्यक्ष हरे राम चौधरी, संतोष राउत, अमोद पूर्वे, सुनील महतो, मनोज पांडे, शिव शंकर शाह, विशेश्वर पंडित,
मॉर्निंग वॉक ग्रुप के दीपक सिंह, प्रशांत झा, संतोष कुमार शर्मा, मनीष कुमार रोहिता, सुरेश गुप्ता, सोनू कुमार, अशोक कुमार यादव, प्रिंस कुमार रोहिता, विवेक कुमार ठाकुर, सोनू कुमार साह, नरेश कुमार, पप्पू कुमार पूर्वे सहित अन्य दर्जनों लोग उपस्थित थे।
आशा से बंधी है सबकी आस, बढ़-चढ़ कर कर रही कार्य
- हर दिन क्षेत्र में घूमकर तारा करती हैं मदद
- संस्थागत प्रसव और बंध्याकरण पर देती हैं जोर
- गर्भवती महिलाओं, बच्चों एवं बुजुर्गों के स्वास्थ्य का रखती हैं खास ध्यान।
मधुबनी : बिस्फी प्रखंड के बालाघाट के केंद्र संख्या 22 ए में कार्यरत आशा कार्यकर्ता तारा से क्षेत्र के हजारों लोगों की आस बंधी रहती है। वर्ष 2012 से ही वह लोगों के बीच काफी लोकप्रिय हैं। इसके पीछे बड़ा कारण है कि वह स्वास्थ्य के बेहतर कार्य योजना को लेकर रोजाना अपने क्षेत्र में भ्रमण करती हैं और हर घर में परिवार के सदस्य के रूप में अपनी पैठ रखती हैं।
अपनी कर्मठता और सेवा भाव से लोगों के दिलों में जगह बनाने वाली आशा कार्यकर्ता तारा कार्य के प्रति इतनी समर्पित हैं कि संक्रमण काल में भी वह हमेशा लोगों की मदद को तैयार रहती हैं। विभागीय निर्देश का पालन करते हुए रोजाना कोरोना के प्रति लोगों को जागरूक करती हैं, नियमित हाथ धोना बताती हैं, शारीरिक दूरी का पालन का पाठ पढ़ाती हैं और मास्क पहनने और उपयोग के बाद इसे नष्ट करने का तरीका भी समझाती हैं। इसके अलावा वह अन्य स्वास्थ्य सेवाओं जैसे टीकाकरण, नवजात के जन्म पर गृह आधारित भेेंट, परिवार नियोजन सहित हर काम बखूबी कर रही हैं। यही कारण है कि स्वास्थ्य अधिकारी भी तारा की कार्य के प्रति ईमानदारी से प्रभावित रहते हैं।
बेहतर कार्ययोजना को बनाया है हथियार:
आशा फैसिलिटेटर संजू देवी ने बताया की तारा अपने कार्य क्षेत्र में काफी कर्मठता के साथ कार्य करती हैं। रोजाना अपने क्षेत्र में भ्रमण करती हैं, लोगों को इनसे काफी लगाव हो गया है। परिवार के सदस्य के रूप में घर-घर जाकर लोगों को जानकारी देती हैं। संजू ने बताया कोरोना संक्रमण काल में स्वास्थ्य कर्मियों पर जिम्मेदारी बढ़ी है। लोग सुरक्षा के लिए एहतियात बरत रहे हैं।
बुजुर्ग, बच्चों एवं बीमार लोगों को संक्रमण का अधिक खतरा है। इसलिए वह अपने क्षेत्र के चिन्हित बुजुर्ग, बच्चे एवं बीमार लोगों से निरंतर संपर्क में रहती हैं ताकि उन्हें संक्रमण से आसानी से बचाया जा सके। घर-घर जाकर लोगों का हाल जानती हैं। यदि किसी को थोड़ी बहुत खांसी, जुखाम, बुखार और गले में दर्द है तो उन्हें बिना देर किए अस्पताल ले जाती हैं ताकि बीमारी बढ़ न सके। संजू का कहना है कि बताया तारा के बेहतर कार्य को लेकर उन्हें पुरस्कृत करने के लिए प्रखंड सामुदायिक उत्प्रेरक द्वारा जिला स्तर पर अनुशंसा की गई है।
होम आइसोलेशन में रह रहे कोरोना संक्रमितों की करती है निगरानी:
तारा देवी बताती हैं हमारे वार्ड में वर्तमान में तीन कोरोना संक्रमित मरीज पाए गए हैं। सभी मरीजों को पीएचसी से दवा लाकर दिया है। उन्हें 14 दिन होमक्वॉरेंटाइन में रहने की सलाह दिया साथ ही मरीज का मोबाइल नंबर लेकर प्रतिदिन फोन के माध्यम से फॉलोअप करती हैं। तारा देवी बताती हैं मेरे जिम्मे में 3 वार्ड का संचालन है जिसमें वार्ड संख्या 5,6,7 है, तीनों वार्ड की आबादी 1822 है इतने लोगों के बीच अपनी जिम्मेदारी के साथ कार्य करती हैं।
संस्थागत प्रसव एवं महिला बंध्याकरण सुनिश्चित कराने में दिया है महत्वपूर्ण योगदान:
तारा ने बताया हमारे पोषक क्षेत्र में 2012 से पूर्व अधिकांश प्रसव गृह अधारित ही हुआ करते थे। अपने क्षेत्र में जिम्मेदारी मिलने के बाद घर-घर जाकर लोगों को स्वास्थ्य विभाग द्वारा दी जा रही सुविधाओं प्रसव पूर्व जांच, आयरन, कैल्शियम की गोली, संस्थागत प्रसव के फायदे के बारे में लोगों को बताया। लोग जागरूक हुए अब हमारे क्षेत्र में एक भी होम डिलीवरी नहीं होती है। तारा अभी तक 250 से अधिक गर्भवती महिलाओं का सफलता पूर्वक संस्थागत प्रसव करवा चुकी हैं।
सुरक्षित प्रसव के लिए आवश्यक पहलुओं की जानकारी पूर्व से ही गर्भवती एवं उसके परिवार को देने के कारण ही तारा को यह सफलता मिली है। तारा बताती हैं कि वह नियमित तौर पर चिन्हित गर्भवती महिलाओं के सम्पर्क में रहती हैं एवं जरूरत पड़ने पर उसको एंबुलेंस की मदद से स्वास्थ्य केंद्र पहुंचाने में सहायता करती है। साथ ही गर्भवती महिला की स्थिति गंभीर होने पर उनके साथ जिला अस्पताल तक जाती हैं। वह अपने इस कार्य में तब तक लगी रहती है जब तक कि उसकी गर्भवती महिला का सफल प्रसव न हो जाए। उन्होंने बताया कि हमारा क्षेत्र बाढ़ ग्रस्त है। बरसात में गांव तक एम्बुलेंस की पहुच नहीं हो पाती है। ऐसे समय में इस वर्ष अभी तक 2 गर्भवती महिलाओं को नाव से सड़क तक ले गई फिर वहां से अस्पताल पहुंचाई। तारा ने बताया कि सैकड़ों महिलाओं का बंध्याकरण वह अब तक करवा चुकी हैं।
सुमित राउत