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नवादा बिहार अपडेट

21 मार्च : नवादा की मुख्य ख़बरें

आंधी व बारिश से जनजीवन अस्त व्यस्त, फसलों को भारी क्षति

नवादा : शनिवार की शाम जिले में धूल भरी तेज आंधी के साथ विभिन्न क्षेत्रों में जोरदार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। लोग इधर-उधर भागने लगे। दिन में ही शाम का नजारा देखने को मिला।

वाहन चालक अपने वाहनों का हेड लाइट जलाकर सड़कों पर रेंगते रहे। हालांकि, इस धूल भरी आंधी व बादल के जोरदार कङकने के बावजूद कहीं से किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं है।

घने काले बादलों को उमड़ते देख लोगों को भीषण बारिश होने की आशंका से सहम गये। धूल भरी तेज आंधी के साथ बारिश होने से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया। कुछ देर के लिए मानो लोग जहां थे वहीं रुक गए। प्रकृति के इस लीला को देखकर लोग सहमे नजर आ रहे हैं।

एक ओर कोरोना का वायरस, तो दूसरी और प्रकृति की इस लीला से लोग कुछ अनहोनी की आशंका व्यक्त करने लगे हैं। तेज आंधी व बारिश से फसलों के साथ आम के मंजरो को जबर्दस्त नुकसान पहुंचा है।

डीएम ने की व्यवसायियों के साथ बैठक, कोरोना से बचने की अपील

नवादा : जिला में बड़े व्यवसायियों के साथ आज जिलाधिकारी ने बैठक की। व्यवसायियों ने जिलाधिकारी की बात मानते हुए नवादा बंद रखने की अपील की है।

कल नवादा जिले की दुकानें पूरी तरह से बंद रहेगी और व्यवसायियों ने यहां तक कहा कि व्यवसाई जनता की सेवा में उतरेंगे। उन्होंने कहा की जो भी जरूरत का समान होगा। उसका सड़क पर उतर कर जनता के बीच वितरण किया जायेगा।

जिलाधिकारी ने साफ तौर पर कहा कि हम किसी भी व्यवसायी को दुकान और प्रतिष्ठान को बंद करने का आदेश नहीं दे रहे हैं।  वे अपनी इच्छा के अनुसार दुकान बंद करेंगे।

व्यवसायियों ने कहा कि हम लोग अपनी दुकान को बंद रखेंगे और करोना वायरस से लड़ने के लिए लोगों को जागरूक भी करेंगे। उन्होंने कहा की जब तक जरूरत पड़ेगी तब तक हम लोग अपनी दुकान को बंद रखने का काम करेंगे।

मौके पर गोपाल प्रसाद, राजीव कुमार सिन्हा, वजीर प्रसाद, राजेश्वर प्रसाद राजेश, विजयभान सिंह, आरपी साहू समेत कई दुकानदार व व्यवसायी मौजूद थे।

नगर परिषद ने कोरोना के संक्रमण से बचाव के लिए निकाला प्रचार वाहन

नवादा : नगर परिषद के सौजन्य से कोरोना वायरस से सावधानी बरतने को लेकर तीन दिनों के लिए वाहन से जागरूता अभियान शुरू किया गया है। नगर अध्यक्ष पूनम कुमारी के नेतृत्व में परिषद पदाधिकारी देवेंद्र कुमार सुमन ने प्रचार वाहन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

नगर परिषद पदाधिकारी देवेंद्र कुमार सुमन ने बताया कि शहर में 33 वार्डों में वाहन द्वारा 3 दिनों के लिए वाहन द्वारा जागरूकता अभियान शुरू किया गया है,प्रचार प्रसार किया जाएगा।

उन्होंने लोगों से अपील की कि सावधानी बरतें और अपने आसपास के मोहल्ले में भी सावधानी बरतने को कहा जाए ताकि लोग जागरूक हो सके घर से निकले तो मास्क पहन कर निकले, भीड़-भाड़ की जगह पर नहीं रहें। हाथ को डिटॉल साबुन से साफ करें। घर में भी साफ सफाई पर विशेष ध्यान दें ताकि संक्रमण ना हो सके।

मौके पर वार्ड पार्षद मनोज चंद्रवंशी, नंदू चौरसिया, राजेश कुमार, जदयू नेता प्रमोद शर्मा  समेत  नगर परिषद के कई वार्ड पार्षद व कर्मी मौजूद थे।

अस्पताल में शराब पीकर हंगामा कर रहे पूर्व कैप्टन गिरफ्तार

नवादा : शराब पीकर रजौली अनुमंडलीय अस्पताल में हंगामा मचाने वाले रजौली विधानसभा के पूर्व निर्दलीय विधानसभा प्रत्याशी सह कथित मर्चेंट नेवी में काम कर चुके कैप्टन राकेश चौधरी को रजौली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।

गिरफ्तार किए जाने के बाद अस्पताल में ही उसका मेडिकल टेस्ट कराया गया। जहां चिकित्सक डॉ राजीव कुमार ने कैप्टन राकेश चौधरी की मेडिकल टेस्ट की। मेडिकल टेस्ट में कैप्टन राकेश चौधरी शराब के नशे में धुत पाया गया। जिसके बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। कैप्टन राकेश चौधरी  अनुमंडलीय अस्पताल में केरल राज्य के विभिन्न क्षेत्रों के प्राइवेट सेक्टरों में काम करने वाले प्राइवेट कर्मियों की डॉक्टरों द्वारा ‘कोरोना’ के संदेह पर किए जा रहे जांच का वीडियो बना रहा था।

जांच के क्रम में बीडीओ प्रेम सागर मिश्र व एएसआई रंजीत पासवान द्वारा समझाने-बुझाने के बाद भी पुलिस-प्रशासन से ही वह उलझ गया और किसी की एक न सुनी।

शराब के नशे में धुत होकर वह सभी लोगों को बुरा-भला कह रहा था। जिसके बाद बीडीओ ने रजौली पुलिस को इसकी सूचना दी।

सूचना के बाद विधि व्यवस्था के अपर थानाध्यक्ष राजेश कुमार अनुमंडलीय अस्पताल पहुंचे और उन्होंने कैप्टन राकेश चौधरी को गिरफ्तार कर लिया।

अपर थानाध्यक्ष राजेश कुमार ने बताया कि पकड़े गए कैप्टन राकेश चौधरी को उत्पाद अधिनियम के तहत प्राथमिकी दर्ज करआरोपी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया ।

चिकित्सक व स्वास्थ्यकर्मी रहे नदारद, मरीज परेशान

नवादा : जिले के उग्रवाद प्रभावित गोविंदपुर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में  सुबह न तो डॉक्टर दिखे और न ही कोई स्वास्थ्यकर्मी। जिसके कारण मरीजों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। एक तरफ पूरी दुनियां में कोरोना वायरस को लेकर त्राहिमाम मचा है, वहीं गोविदपुर में चिकित्सीय व्यवस्था पर सवाल खड़ा हो रहे हैं।

कोरोना वायरस को लेकर स्वास्थ्यकर्मियों को अलर्ट पर रखा गया है, लेकिन गोविदपुर स्वास्थ्य केंद्र में अलर्ट का असर नहीं है।

व्यवस्था का आलम देखिए, स्वास्थ्य केंद्र में सुबह-सुबह एक लड़की जो सर्दी, जुकाम और बुखार से पीड़ित थी गोविदपुर पीएचसी में दिखाने पहुंची। चार-पांच मरीज पहले से मौजूद थे, लेकिन ओपीडी में कोई डॉक्टर नहीं थे। बात मीडियाकर्मियों तक पहुंच गई। मीडियाकर्मी अस्पताल पहुंचे तो एक भी डॉक्टर नहीं मिले। तब 09 बज रहा था। पता किया तो चिकित्सक के साथ ही एक भी स्वास्थ्यकर्मी नहीं मिले। उस लड़की के पिता परेशान थे। लक्षण कोरोना का था।

बात कुछ स्थानीय अधिकारियों तक पहुंची तो हेल्थ मैनेजर अरविद कुमार का आगमन हुआ। उन्होंने मरीज को आइसुलेशन वार्ड में भर्ती कराया।

सुबह 8 बजे से 2 बजे तक एएनम उर्मिला कुमारी तथा निर्मला कुमारी की ड्यूटी थी। करीब 09 :20 बजे निर्मला कुमारी पहुंची। इससे पहले एक एनम जो अस्पताल में ही रहती थी वहां मौजूद दिखी। दवा काउंटर पर दो तीन कर्मचारी दिखे। लेकिन प्रभारी समेत सभी डॉक्टर नदारद थे। हेल्थ मैनेजर द्वारा एक डॉक्टर रविन्द्र कुमार विश्वकर्मा को बुलाया गया।

उन्होंने मरीजों का इलाज शुरू किया। प्रभारी डॉक्टर बीएल चौधरी भी तब तक अस्पताल पहुंच चुके थे। उन्होंने बुखार पीड़िता लड़की की जांच कर प्रथम दृष्टया सर्दी-जुकाम होने की बात कह कुछ दवाई देकर उसे अस्पताल से छुट्टी दे दिया गया। बता दें कि इस अस्पताल में 22 एएनम कार्यरत हैं। डॉक्टरों की कमी है, लेकिन जिनकी तैनाती है वे नियमित नहीं आते हैं।

बताया जाता है कि एक डॉक्टर बिनोद कुमार हैं जो कभी-कभार ही आते हैं। इनकी उंची पहुंच है। बहरहाल कोरोना के खतरे के बीच पीएचसी की ऐसी ही लुंजपुंज व्यवस्था रही तो आपदा से निपटना हमेशा चुनौती रहेगा।

युवक ने रक्तदान कर महिला की बचाई जान

नवादा : सदर अस्पताल में युवक राजेश कुमार ने रक्तदान कर खून की कमी से जूझ रही एक महिला की जान बचाई। महिला के शरीर में महज छह ग्राम हिमोग्लोबिन था। छत्रपति शिवाजी सेवा संस्थान के सचिव जितेंद्र प्रताप जीतू ने बताया कि खून की कमी से जूझ रही रंजू देवी को उनके स्वजनों ने सदर अस्पताल में दाखिल कराया था। वह अकबरपुर प्रखंड के ननौरी गांव निवासी रंजीत सिंह की पत्नी है।

सदर अस्पताल में डॉक्टर से दिखाने के बाद मरीज को खून चढ़ाने की सलाह दी गई थी। जिसके बाद महिला के स्वजनों ने ब्लड बैंक में संपर्क किया। लेकिन वहां ए पॉजिटिव ग्रुप का ब्लड नहीं उपलब्ध था। जिसके बाद स्वजनों ने जितेंद्र प्रताप से संपर्क किया। तब उन्होंने मुस्लिम रोड के युवक राजेश कुमार से बात की। जिसपर वह तैयार हो गया और रक्तदान कर महिला की जान बचाई।

इधर, पकरीबरावां प्रखंड के उत्क्रमित मध्य विद्यालय रेवार के शिक्षक संतोष कुमार ने पटना स्थित प्रयाग अस्पताल में इलाज करा रहे अवधेश चौधरी के लिए रक्तदान की।

मुफस्सि्सल थाने के स्थानांतरण पर लोगों ने उठाये सवाल

नवादा : पटना-रांची राष्ट्रीय राजमार्ग-31 पर अकौना नहर के पास कई दशक से संचालित मुफस्सिल थाना को वहां से हटाकर केंदुआ लॉ कॉलेज के पास बने नए भवन में शिफ्ट किया गया है। प्रशासन के इस कार्रवाई पर इलाके के लोगों ने हैरानी जताई है। बड़ी संख्या में लोगों ने थाना को अन्यत्र स्थानांतरित किए जाने पर आपत्ति दर्ज कराते हुए विभाग के वरीय अधिकारियों को पत्र लिखकर पुराने भवन में ही थाना संचालित करने की मांग की है।

जिला कांग्रेस मानवाधिकार विभाग के बबन प्रसाद सहित पथरा गांव के रामजी प्रसाद, मुनिरक प्रसाद, अकौना के डॉ शालो, बुलक पंडित, कालीपुर के अमीरक सिंह आदि ने मुख्यमंत्री, पुलिस महानिदेशक, जिलाधिकारी, पुलिस अधीक्षक आदि को पत्राचार कर जनहित में थाना को पुराने भवन में ही संचालित करने की मांग की है। उक्त लोगों को कहना है कि केंदुआ में थाना शिफ्ट होने से एनएच-31 असुरक्षित हो जाएगा। जिस स्थान पर नए भवन में थाना को शिफ्ट किया जा रहा है उस इलाके की रखवाली नगर थाना से ही हो जाती है।

जमीन के पेंच में थाना किया गया स्थानांतरित

बताया जाता है कि पूर्व में मुफस्सिल थाना अकौना नहर के पास एक किराए के खपरैल भवन में संचालित था। थाना का भवन एनएच 31 से सटा हुआ था। जमीन व मकान पथरा-इंगिलश गांव निवासी पूर्व जिला परिषद अध्यक्ष जेहल प्रसाद का था। थाना को इसी आधार पर दूसरे स्थान पर शिफ्ट किया गया कि निजी भवन में संचालित था। लेकिन बात ऐसी नहीं थी। पूर्व जिप अध्यक्ष ने अपने जीवन काल में ही उक्त भूमि को थाना भवन निर्माण के लिए राज्यपाल के नाम निबंधित कर दिया था।

पथरा के रामजी प्रसाद कहते हैं नए थाना भवन से कई गुणा अधिक भूमि दान में दी गई थी। लेकिन, वरीय अधिकारियों ने सही निर्णय नहीं लिया। अधिकारी फिर से अपने निर्णय पर विचार करें और जनहित में पुराने भवन में ही थाना को संचालित करें और उस भूमि पर भवन का निर्माण कराएं।

प्रशासन को नहीं थी जानकारी

कांग्रेस नेता बबन प्रसाद का कहना है कि प्रशासन को शायद इस बात की जानकारी नहीं थी कि जिस भूमि पर थाना संचालित है, वह थाना के लिए दान दे दिया गया था।

पूर्व जिप अध्यक्ष स्व. जेहल प्रसाद ने 29 अक्टूबर 2002 को महामिहम राज्यपाल के नाम भूमि निबंधित कर दिया गया था। जिस स्थान पर थाना को शिफ्ट किया गया है वहां से इस थाना का सीमा क्षेत्र जो कि नांलदा जिले से जुड़ता है 11 किमी दूर है। ऐसे में एनएच के साथ ही आम ग्रामीणों की सुरक्षा नहीं हो सकेगी।

आए दिन होती हैं घटनाएं :

पटना-रांची राष्ट्रीय राजमार्ग-31 नवादा जिले में करीब 65 किमी है। लेकिन एक भी थाना ऑनरोड नहीं है। सिर्फ मुफस्सिल थाना रोड से सटे था। उसे भी हटा लिया गया है। राजमार्ग की सुरक्षा के लिहाज से यह थाना काफी महत्वपूर्ण रहा है। नांलदा-नवादा की सीमा खरांट से लेकर नवादा बाइपास में खुरी नदी पुल तक है। करीब 15 किमी एनएच इस थाना के दायरे में आता है।

नए भवन से नालंदा की सीमा करीब 11 किमी है। पूर्व के थाना भवन से नालंदा की सीमा करीब 5 किमी कम थी। एनएच पर सफर करने वालों की सुरक्षा की लिहाज से पूर्व का थाना भवन अपेक्षाकृत बेहतर था। पुराने भवन में थाना संचालित होने से अकौना, नहर पर, अमेरिका बिगहा बाजार आदि को भी सुरक्षा मिलती थी। नालंदा की सीमा की ओर एनएच जाम होने पर पुलिस आसानी से वहां पहुंच जाती थी।

नर्सिंग होम संचालकों के साथ की डीएम ने की बैठक

नवादा : समाहरणालय सभागार में डीएम यशपाल मीणा ने आइएमए के सदस्यों और निजी नर्सिंग होम संचालकों के साथ बैठक की। जिसमें नोवेल कोरोना वायरस से सुरक्षा पर विचार-विमर्श किया गया। डीएम ने उनसे सहयेाग की अपील की।

उन्होंने कहा कि जिलेवासी इस बीमारी से सुरक्षित रहें। इसके लिए इसके लिए सरकारी तंत्र के अलावा सामाजिक स्तर पर सभी लोगों की जरूरत पड़ गई है। जिलावासी स्वेच्छा से इस मुहिम में सहयोग कर रहे हैं। जिले के सभी प्रमुख मॉल, जिमखाना, वाटर पार्क, स्कूल, कॉलेज, कोचिग बंद कर दिए गए हैं। लोग समूह में न रहें, इसके लिए मंदिर, मस्जिद, गिरिजाघर में भी रोक लगाई गई है।

इस महामारी से बचने के लिए कम से कम लोग घर से बाहर निकलें। इस दिनों तक इस आपात घड़ी में धैर्य बनाए रखें। अस्पतालों में भीड़ न लगायें। जिले के प्रसिद्ध चिकित्सक डॉ. एके अरुण ने कहा कि विपदा की इस घड़ी में महामारी से रोकथाम के लिए आवश्यकता अनुसार ही मरीजों को देखें। बहुत आवश्यक न हो तो 10-20 दिन के बाद ही मरीज को इलाज के लिए बुलाएं। इससे स्वास्थ्य केन्द्रों में भीड़ पर नियंत्रण पाया जा सकता है।

चिकित्सकों ने 10-15 दिनों तक लोगों को कोरोना वायरस से सुरक्षा के लिए जागरूक करने पर जोर दिया। डीएम ने कहा कि आपलोगों के सहयोग से ही महामारी पर विजय पाई जा सकती है।

मौके पर डीडीसी वैभव चौधरी, सहायक समाहर्ता साहिला, सिविल सर्जन डॉ. विमल प्रसाद सिंह, सदर एसडीएम अनु कुमार, डीपीआरओ गुप्तेश्वर कुमार, डॉ. एके अरूण, डॉ. बीके शर्मा, डॉ बीपी सिन्हा, डॉ. ओम प्रकाश, डॉ. शहंशाह आलम, डॉ. महेश कुमार, डॉ. कुणाल कुमार, डॉ. भोपेश कुमार, डॉ. सावित्री शर्मा, डॉ. अर्चना आदि उपस्थित थे।

विवाहिता की गला दवा हत्या, शव बरामद

नवादा : जिले के नरहट प्रखंड क्षेत्र के बभनौर गांव में 27 वर्षीया विवाहिता की परिजनों ने गला दवा कर हत्या कर दी। पुलिस ने शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंपा है। इस बावत मृतका के पिता के बयान पर थाने में प्राथमिकी दर्ज कर मामले की जांच आरंभ की है।

बताया जाता है कि हिसुआ थाना क्षेत्र के जयसिंह बिगहा गांव के सीताराम चौहान ने अपनी पुत्री 27 वर्षीय कविता की शादी नरहट प्रखंड क्षेत्र के बभनौर गांव के रामविलास चौहान के साथ की थी। इस क्रम में दहेज के रूप में एक लाख रूपये की मांग की जा रही थी। मांग की पूर्ति नहीं होने पर प्रताड़ित किया जा रहा था।

शुक्रवार की देर शाम कविता की परिजनों ने गला दवा कर हत्या कर दी। बगल के लोगों ने सूचना मृतका के पिता को दिया। सूचना के आलोक में थानाध्यक्ष नवीन कुमार सिन्हा ने शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों को सौंपा है। इस बावत थाने में प्राथमिकी दर्ज कर मामले की जांच आरंभ की है। सभी आरोपी घर छोङ फरार होने में सफल रहा है।