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19 मार्च : सारण की मुख्य ख़बरें

60 दिनों तक चलेगा जिले में कालाजार उन्मूलन अभियान

सारण : सारण में कालाजार उन्मूलन को लेकर 20 मार्च से अभियान चलेगा। इसको लेकर जिला मलेरिया कार्यालय में सिविल सर्जन डॉ माधवेश्वर झा की अध्यक्षता में प्रेस कंफ्रेंस का आयोजन किया गया। जिसमें सिविल सर्जन ने कहा कि कालाजार को लेकर जिला अलर्ट है। स्वास्थ्य विभाग इस रोग से समाज को सुरक्षित रखने के लिए त्वरित गति से उन्मूलन कार्यक्रम चला रहा है। जिले के विभिन्न गांवों में पहुंचकर सिंथेटिक पाइराथाइराइड का छिड़काव किया जाना है। इसको लेकर अभियान 20 मार्च से शुरू हो रहा है, जो 60 दिनों तक चलेगा। इस मौके पर भीबीडीसी सुधीर कुमार, मलेरिया इंस्पेक्टर मुस्तफा अंसारी, केअर इंडिया के डीपीओ वीएल आदित्य कुमार, रंजन कुमार, अनुज कुमार समेत अन्य मौजूद थे।

1265 गांवों में चलेगा अभियान :

डीएमओ डॉ दिलीप कुमार सिंह ने बताया कि जिले के 20  प्रखंडो 1265 गांवों में यह अभियान चलाया जाएगा। अभियान के तहत घर-घर जाकर छिड़काव किया जाएगा। 588541  घरों में छिड़काव किया जाएगा। उन्होंने बताया कि 3158204 जनसंख्या को कवर किया जाएगा।  जिले में 169  टीम लगाए गए है। कुल 1000 लोग काम करेंगे।

जिले में अब तक 88 कालाजार के मरीज :

डीएमओ ने बताया कि जिले में लगातार कालाजार मरीजों की संख्या में  कमी आ रही है। 2019 के तुलना में 24 प्रतिशत कालाजार मरीजों की संख्या में कमी आयी है। जिले में अब तक 88 कालाजार के मरीज पाए गए है।  जिनका समुचित उपचार विभाग के द्वारा कराया जा रहा है। कालाजार मरीजों को श्रम क्षतिपूर्ति राशि भी दिया जा रहा है।

ऐसे फैलता है रोग :

कालाजार रोग लिशमेनिया डोनी नामक रोगाणु के कारण होता है।जो बालू मक्खी काटने से फैलता है। साथ ही यह रोग एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में भी प्रवेश कर जाता है। दो सप्ताह से अधिक बुखार व अन्य विपरीत लक्षण शरीर में महसूस होने पर अविलंब जांच कराना अति आवश्क है। सदर अस्पताल में इलाज का समुचित प्रबंध है। यहां मरीजों का एक ही दिन में इलाज कर दिया जाता है। बताया जाता है कि कालाजार का मक्खी नमी व अंधरे वाले स्थान पर ज्यादा फैलती है।

मरीजो को मिलेगी 7100 रूपये की श्रम- क्षतिपूर्ति राशि :

जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. दिलीप कुमार सिंह ने बताया प्रति कालाजार पीड़ित मरीज को 7100 रूपये की श्रम-क्षतीपूर्ति राशि भी दी जाएगी। यह राशि भारत सरकार एवं राज्य सरकार के तरफ से दी जाती है. जिसमें मरीज़ो  के लिए 6600 रूपये मुख्यमंत्री कालाजार राहत अभियान के अंतर्गत एवं 500 रूपये भारत सरकार के तरफ से प्रदान की जाती है.

कालाजार के लक्षण :

  • यदि किसी व्यक्ति को दो हप्ते से ज्यादा से बुखार हो, उसकी तिल्ली और जिगर बढ़ गया हो और उपचार से ठीक न हो हो तो उसे कालाजार हो सकता है।
  • पोस्ट कालाजार डरमल लिश्मैनियासिस (पी.के.डी.एल.) एक त्वचा रोग है जो कालाजार के बाद होता है।
  • दो हफ्ते से ज्यादा समय से बुखार, खून की कमी (एनीमिया), जिगर और तिल्ल्ली का बढ़ना, भूख न लगना, कमजोरी तथा वजन में कमी होना है।
  • सूखी, पतली, परतदार त्वचा तथा बालों का झड़ना भी इसके कुछ लक्षण है।
  • उपचार में विलंब से हाथ, पैर और पेट की त्वचा भी काली पड़ जाती है।

छपरा में मिले कोरोना के दो संदिग्ध मरीज

सारण : मशरक प्रखंड क्षेत्र के अलग-अलग जगहों से कोरोना वायरस के दो संदिग्ध मरीज मिले है जिन्हें प्रशासन ने जांच के लिए छपरा भेज दिया है। बहरौली गांव में कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज होने की खबर फैलते ही गांव में हड़कंप मच गया।

मंगलवार को दिल्ली से तीन साल बाद खांसी बुखार और हाथ में इनट्राकेट लगा 45 वर्षीय गुलाब हुसैन जैसे ही अपने घर बहरौली ईदगाह टोला पहुंचे। उक्त व्यक्ति की स्थिति देख आसपास के लोग कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज होने की आशंका को लेकर भयभीत हो गए। परिजन घर से बाहर निकल गए। जिसे लेकर गांव में अफरा-तफरी मच गई। अफरातफरी का माहौल देख स्थानीय मुखिया अजीत कुमार सिंह ने घटना की जानकारी स्वास्थ्य विभाग को दी गई।

सूचना मिलते ही मशरक पीएचसी में ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक डॉ चन्द्रशेखर सिंह द्वारा एम्बुलेंस से मेडिकल टीम के साथ उक्त व्यक्ति को जांच के लिए छपरा सदर अस्पताल भेज दिया गया। उधर बुधवार को दोपहर गंगौली गांव में कोरोना वायरस के संदिग्ध मरीज होने की सूचना पर चिकित्सक के साथ पहुंचे मशरक सीओ ललित कुमार सिंह ने संदिग्ध मरीज को छपरा भेजा। गंगौली गांव निवासी स्व चन्देश्वर महतो का पुत्र केरल से घर आया था। दोनों खांसी, बुखार से पीड़ित थे और हाथ में इनट्राकेट लगा था।जिसे लेकर कोरोना के लक्षण होने की संभावना जताई जा रही है। हालांकि जांच के बाद ही स्पष्ट होगा।

कोरोना से बचाव के लिए जागरूकता जरुरी : शिक्षक

सारण : माध्यमिक शिक्षक संघ भवन में आयोजित अनिश्चितकालीन हड़ताल के 24वे दिन संघ भवन में भूख हड़ताल पर बनियापुर, मशरख  और मरोड़ा प्रखंड के नियोजित शिक्षक एवं पुस्तकालय अध्यक्ष शाम तक रहे। सभा की अध्यक्षता कर रहे हैं पंचदेव गिरि ने बताया कि जन जागरूकता अभियान निश्चित रूप से चलानी चाहिए जिससे कि कॉरोना से बचाव अपने आपको सभी लोग कर सकें।

जिला सचिव राजाजी राजेश ने बताया की सरकार की यह दोहरी साजिश नहीं चलेगी जिसे की नियोजित शिक्षक का हड़ताल समाप्त हो। प्रखंड सचिव नागेंद्र राय ने बताया की जन जागरूकता अभियान के साथ-साथ नियोजित शिक्षक अपने दर्द को भी जनता कभी चरखे की सरकार किस प्रकार नियोजित शिक्षकों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है।

अनुमंडल सचिव सुजीत कुमार ने बताया की सरकार की दोहरी नीति कोरोना के नाम पर नहीं चलेगी क्योंकि एक तरफ सरकार कोरॉना के नाम पर सभी विद्यालयों को 31 तक बंद रखने का कार्य किया है तो दूसरी तरफ मूल्यांकन कार्य में लगे नियोजित शिक्षकों से अपील की है अति शीघ्र मैट्रिक उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन करें।

परीक्षा सचिव विद्या सागर विद्यार्थी ने कहा कि लड़ाई में जीत हासिल निश्चित रूप से मिलेगी इस अवसर पर प्रखंड सचिव  राकेश कुमार  ने बताया कि प्रखंड 10 की टोली बनाकर भिन्न-भिन्न गांव में जाकर कोरोना संबंधित उससे बचाव के उपाय को ग्रामीणों को बताने का कार्य चल रहा है इस अवसर पर प्रखंड सचिव रमेश कुमार, जितेंद्र राम, मनीष भारती, रमेश कुमार, अनवर हुसैन, बबीता कुमारी, रवीना सिंह, अभिषेक कुमार, मिथिलेश कुमार, विवेकानंद, मनीष कुमार, पुनीत रंजन, प्रियंका कुमारी व अन्य शिक्षक उपस्थित थे मंच का संचालन प्रभु बैठा ने किया।

सभी जिले में सेनिटाइजड एम्बुलेंस उपलब्ध कराने का निर्देश

सारण : कोरोनावायरस संक्रमण की रोकथाम के लिए सरकार द्वारा निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं। पिछले कुछ दिनों में देश में भी कोरोनावायरस से संक्रमित लोगों की संख्या में इज़ाफा देखने को मिला है। राज्य सरकार द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार बिहार में अभी तक एक भी कोरोनावायरस से पीड़ित मामले की पुष्टि नहीं हुयी है। इसके मद्देनजर राज्य सरकार अधिक सतर्क भी है।

इस दिशा में स्वास्थ्य विभाग ने एक और पहल करते हुए कोरोनावायरस के संदिग्ध या चिन्हित रोगियों के लिए राज्य के सभी जिलों में सेनिटाइजड एम्बुलेंस की सुविधा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इसको लेकर कार्यपालक निदेशक स्वास्थ्य विभाग मनोज कुमार ने सभी चिकित्सा महाविद्यालय एवं अस्पताल सहित सभी सिविल सर्जन को पत्र लिखकर विस्तार से जानकारी भी दी है।

जिला अस्पताल में एक एम्बुलेंस की सुविधा :

पत्र के माध्यम से राज्य के सभी जिला अस्पतालों एवं चिकित्सा महविद्यालय अस्पतालों में 102 नंबर की सेनिटाइजड एम्बुलेंस को चिन्हित करने के निर्देश दिए गए हैं। यदि भविष्य में कोरोनावायरस से संक्रमित मरीजों की संख्या अधिक होती है तो अतिरिक्त एम्बुलेंस को चिन्हित कर उपयोग में लाया जाएगा। इस एम्बुलेंस से ही संदिग्ध एवं चिन्हित रोगियों को अस्पताल या घर पहुँचाया जाएगा। एम्बुलेंस इस्तेमाल से पूर्व एवं बाद में इसे अच्छी तरह से सेनिटाइजड भी किया जाएगा।  102 एम्बुलेंस सेवा प्रदाता के माध्यम से उनके जिला प्रतिनिधि(एसीओ) के नेतृत्व में नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंटोल, भारत सरकार द्वारा निर्गत दिशा-निर्देश के अनुरूप चिन्हित एम्बुलेंस को दिन में 2 बार सेनिटाइजड किया जाएगा ताकि संक्रमण प्रसार को रोका जा सके।

एम्बुलेंस में कर्मियों को दी जाएगी कोरोनावायरस प्रोटेक्शन किट :

सिविल सर्जन डॉ माधवेश्वर झा ने बताया कि कोरोनावायरस के संभावित संक्रमण को देखते हुए संदिग्ध या चिन्हित रोगियों के परिवहन के लिए सेनिटाइजड एम्बुलेंस की व्यवस्था की जाएगी। साथ ही एम्बुलेंस पर प्रतिनियुक्त एम्बुलेंस कर्मियों को सीओवीडी-19 के संक्रमण से बचाव के लिए कोरोनावायरस प्रोटेक्शन किट भी प्रदान कराया जाएगा।  इसके अलावा जिले के रैपिड रेस्पोंस टीम के प्रशिक्षित मास्टर ट्रेनर इन कर्मियों को प्रशिक्षित भी करेंगे। इस सम्पूर्ण प्रक्रिया में विश्व स्वस्थ्य संगठन के अधिकारीयों से सहयोग लेने के भी निर्देश दिए गए हैं।

इन बातों का रखें ख्याल :

  • जब भी सर्दी जुकाम हो तो दूसरों के साथ नजदीकी संपर्क ना बनाएं। खुले में ना थूकें
  • यदि आपको बुखार, सर्दी या सांस लेने में समस्या हो तो तुरंत चिकित्सक को दिखाएँ एवं उन्हें बीते दिनों की यात्रा के बारे में बताएं
  • यदि कोई व्यक्ति बीमार लग रहा हो और खांस या छींक रहा हो तो उससे कम से कम 2 मीटर की दूरी बनाएं
  • संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने के बाद हाथों को अच्छी तरह 20 से 30 सेकंड तक साबुन एवं पानी से धोएं या सैनिटाइजर का उपयोग करें
  • ऐसे जानवरों के मांस सेवन करने से बचे जो बीमार थे या जिनकी मौत किसी बीमारी से हुयी हो
  • हाथ धोये बिना अपनी आँखें, नाक और मुंह को न छुएं और किसी दूसरे व्यक्ति को भी न छुएं

5 सावधानियां रखेगी कोरोना वायरस से आपको सुरक्षित

  • हाथ साफ़ रखें
  • चेहरे पर मास्क का ठीक तरह से इस्तेमाल करें
  • नियमित रूप से बुखार की जाँच करें
  • भीड़ में जाने से बचें
  • गंदे हाथों से चेहरा न छुएं

लोजपा ने चलाया कोरोना के प्रति जागरूकता अभियान

सारण : लोजपा जिलाध्यक्ष दीपक कुमार सिंह एवं प्रदेश महासचिव केशव सिंह के द्वारा कोरोना वायरस के बचाव हेतु जागरूकता रथ को नगरपालिका चौक से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया । रथ शहर के 45 वे वार्ड एवं उसके बाद जिले के सभी प्रखंडों के गाँव में पहुंचकर करोना वायरस  से कैसे बचा जाये इसके बचाव के लिए क्या उपाय किया जाये, लोगों के बीच जाकर जागरूक किया जाएगा । रथ को रवाना करते हुए जिला अध्यक्ष  दीपक कुमार एवं प्रदेश महासचिव केशव सिंह ने बताया कि  करोना वायरस के चलते प्रदेश एवं जिला के  सारे कार्यक्रमों को स्थगित कर दिया है । 14 अप्रैल को गाँधी मैदान पटना में आयोजित बिहार फस्ट बिहारी फस्ट रैली को भी स्थगित कर दिया गया है।

जिला लोजपा कार्यकारणी ने जिला के नागरिकों से अपील किया कि करोना वायरस बिमारी से घबराने एवं डरने की जरूरत नहीं है, बस इसका बचाव और सुरक्षा जरूरी है। इस जागरूकता रथ कार्यक्रम के दौरान युवा जिलाध्यक्ष पूर्णेदु सिंह, महानगर अध्यक्ष आलोक कुमार,उपाध्यक्ष कौशल सिंह,नंदन सिंह, महासचिव चितरंजन सिंह, मुन्ना सिंह, जिला प्रवक्ता हेमंत सिंह सुमन,  नगरा प्रखंड अध्यक्ष सुबोध कुमार, ईश्वापुर प्रखंड अध्यक्ष राजेश गुप्ता, सचिव मुकेश गुप्ता, पशुपतिनाथ गुप्ता, विक्की कुमार, सुधीर मिश्रा अनीमेष कुमार, पवन सिंह, विशाल सिंह, मिथिलेश सिंह, अरविन्द पासवान, कुणाल चौधरी, प्रदीप कुमार, मनीष सोनी, गणेश, मनोज मिश्रा कुमार इत्यादि प्रमुख थे

लावारिश बच्ची को आरपीएफ ने चाइल्ड हेल्प लाइन को सौपा

सारण : पूर्वोत्तर रेलवे अंतर्गत छपरा कचहरी स्टेशन पर बुधवार की शाम करीब तीन वर्ष की एक अबोध बच्ची को लावारिश हालत में पाया गया, जिसे रेलवे सुरक्षा बल के जवानों ने चाइल्ड हेल्पलाइन को सौंप दिया। आरपीएफ इंस्पेक्टर अनिरुद्ध राय ने बताया कि ड्यूटी के दौरान स्टेशन के बाहरी परिसर में कांस्टेबल विष्णु कांत सिंह ने लावारिस हालत में तीन वर्ष की बच्ची को भटकते हुए पाया।

बरामद बच्ची परिजनों का नाम, पता नहीं बता पा रही है। इसको लेकर ध्वनि विस्तारक यंत्र से स्टेशन पर प्रचार प्रसार कर परिजनों की खोज की गई, लेकिन कोई नहीं मिला, जिसके बाद चाइल्ड हेल्पलाइन को सौंप दिया गया तथा बच्ची के परिजनों का पता लगाने के लिए सोशल मीडिया समेत अन्य माध्यमों से प्रचार-प्रसार कराया जा रहा है।