तल्खी, अल्टीमेटम और डैमेज कंट्रोल, जानें क्या है एनडीए की पटकथा?

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पटना : सीटों के बंटवारे को लेकर बिहार राजग में सहयोगी दलों के बीच तल्खी कम होने के आसार नजर नहीं आ रहे। राजग घटक जदयू के प्रदेश अध्यक्ष एवं राज्यसभा सांसद वशिष्ठ नारायण सिंह ने आज यहां संवाददाताओं से कहा कि राजग मजबूत और काफी अच्छी स्थिति में है। उन्होंने रालोसपा अध्यक्ष एवं केन्द्रीय मंत्री उपेन्द्र कुशवाहा की ओर इशारा करते हुए कहा कि किसी के आने और जाने से राजग को कोई फर्क नहीं पड़ने वाला।

सीट बंटवारे पर जदयू की तल्खी

श्री सिंह ने कहा कि श्री कुशवाहा के संदर्भ में वह कोई टिप्पणी नहीं करते और जहां तक पार्टी के प्रवक्ताओं का सवाल है, वह भी संयम बरत रहे हैं। सीएम नीतीश कुमार ने भी कोई ऐसा बयान नहीं दिया है। उन्होंने कहा कि स्वयं ही कोई दूसरी धारा में जाना चाहे तो उसे रोका नहीं जा सकता। कोई व्यक्ति किसी जाति विशेष का ठेकेदार नहीं हो सकता। जदयू के प्रदेश अध्यक्ष ने रालोसपा विधायकों के उनकी पार्टी में शामिल होने के संबंध में पूछे गये सवाल के जवाब में कहा कि जदयू की नीतियों के आधार पर कोई आना चाहे तो उसका स्वागत है। राजनीति में हर कोई एक-दूसरे के सम्पर्क में बना रहता है।

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भाजपा का डैमेज कंट्रोल

दूसरी ओर भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता एवं पूर्व विधायक संजय टाइगर ने कहा कि श्री कुशवाहा केन्द्रीय मंत्रिमंडल में हैं और उनकी पार्टी राजग का घटक दल है। राजग ने बिहार में जिस मजबूती के साथ वर्ष 2014 का लोकसभा चुनाव लड़ा था, उसी तरह वर्ष 2019 में होने वाले चुनाव को भी सभी घटक दल मिलकर लड़ेंगे। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि श्री कुशवाहा बार-बार दुहराते रहे हैं कि देशहित में श्री नरेन्द्र मोदी को फिर से प्रधानमंत्री बनाना चाहते हैं। जब कोई लक्ष्य को लेकर आगे बढ़ रहा है तो ऐसे में सीटों का मुद्दा इसमें बाधक नहीं होगा। उन्होंने दावा किया कि वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में राजग की स्थिति और बेहतर होगी। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाला जदयू अब राजग का अंग है। राजग के सभी घटक दलों के शीर्ष नेतृत्व आपस में मिल बैठकर सीटों का बटंवारा कर लेंगे।

रालोसपा ने दिया अल्टीमेटम

इसबीच रालोसपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष एवं पूर्व केन्द्रीय मंत्री नागमणि ने कहा कि भाजपा नेतृत्व उनकी पार्टी को हैसियत के मुताबिक सीटों का बटंवारा करे, वही भी दो दिनों के भीतर। पार्टी की शक्ति को नजरअंदाज करना चुनाव में महंगा पड़ सकता है। उन्होंने कहा कि कल पटना में रालोसपा राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक बुलायी गयी है, जिसमें अगले लोकसभा चुनाव को लेकर महत्वपूर्ण फैसले लिये जायेंगे।

कब, कहां और कैसे शुरू हुई  ‘रार’

उल्लेखनीय है कि रालोसपा अध्यक्ष श्री कुशवाहा लगातार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ बयान देते आये हैं और उनसे असंतुष्ट चल रहे हैं। वह श्री कुमार के उनके लिए कथित ‘नीच’ शब्द का इस्तेमाल किये जाने तथा रालोसपा के दो विधायकों के पाला बदलकर जदयू में शामिल होने की अटकलों को लेकर मुख्यमंत्री के खिलाफ लगातार हमलावर रहे हैं।
रालोसपा अध्यक्ष ने पिछले दिनों आरोप लगाया था कि मुख्यमंत्री एवं जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री कुमार उन्हें और उनकी पार्टी को बर्बाद कर देने पर उतारू हैं। राजनीतिक दलों में तोड़फोड़ करना उनकी नियति है लेकिन हम दोनों राजग में ही हैं। ऐसे में श्री कुमार को इस तरह का काम नहीं करना चाहिए। उनकी पार्टी के विधायक के पाला बदलने से उन्हें (श्री कुशवाहा ) कुछ नहीं होने वाला है क्योंकि वह कोई मुख्यमंत्री नहीं हैं जिससे उनका समर्थन कम हो जायेगा ।

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