प. चंपारण : बिहार के आम लोगों को जहां प्याज जबर्दस्ती ‘वैष्णव’, वहीं मुनाफाखोरों को लालची असुर बनाने पर तुल गई है। आलम ये कि अधिकांश गृहस्थों के किचन से प्याज गायब है। यहां तक कि सरकार ने बिस्कोमान के जरिये पुलिस के पहरे में प्याज की सस्ती बिक्री शुरू करवा दी। एक व्यक्ति को 35 रुपये किलो के हिसाब से अधिकतम 2 किलो प्याज दिया जा रहा है। वहीं, प्याज के रूप में कालाबाजारी करने वालों को तस्करी का एक नया आइटम मिल गया है। आज शुक्रवार को भारत-नेपाल सीमा स्थित रक्सौल में कस्टम विभाग की एक टीम ने छापेमारी कर करीब 8 करोड़ का प्याज जब्त किया।
रक्सौल में 8 करोड़ का प्याज जब्त
जानकारी के अनुसार वहां जब्ती की प्रकिया अभी भी जारी है। बताया गया कि प्याज को भारतीय बाजार में ब्लैक में बेचने के लिए कुछ कालाबाजारी करने वालों ने वीरगंज में स्टॉक कर रखा था। अहले सुबह जैसे ही गाड़ियों की कई खेप रक्सौल में आयी, वैसे ही कस्टम ने स्थानीय पुलिस के सहयोग से छापेमारी शुरू कर दी। कुछ तस्कर भागने में सफल हो गये। प्याज को जब्त कर लिया गया है।
पुलिस पहरे में यहां बिक रहा सस्ता प्याज, बाजार से हाफ रेट
नेपाल से भारत में हो रही तस्करी
कस्टम की इस क्रिया से पूरे सीमा क्षेत्र में खलबली मच गयी है। बिचौलियों के खिलाफ इस कार्रवाई से तस्करों में हड़कम्प मच गया है। जानकारी मिली है कि रक्सौल से सटे भंसार पर प्याज डम्प किया गया था। अभी पटना सहित पूरे बिहार में प्याज की कीमत में आग लगी हुई है।
बढ़ती कीमत को देखते हुए तस्करों ने प्याज भारतीय बाजार में उतारा था। प्याज की तस्करी को लेकर सीमा सहित एसएसबी को भी निर्देश दिया गया है। एसएसबी ने इसके पहले कुछ किस्तों में खाद्य सामग्रियों को जब्त किया था।