अब ईबीसी आयोग अध्यक्ष की नियुक्ति पर जदयू-राजद में खिच-खिच
पटना : नीतीश कुमार के नेतृत्व में बनी महागठबंधन सरकार शुरू से ही लगातार खिच-खिच और तकरारों में बिजी है। क्राइम ग्राफ और विकास की तो बात ही छोड़ दें, सरकार के दोनों प्रमुख घटकों जदयू और राजद का पूरा फोकस एक दूसरे पर हावी होने की ही है। अब दोनों दलों के बीच ताजा तकरार अतिपिछड़े वर्गों के लिए राज्य आयोग के अध्यक्ष की नियुक्ति के रूप में सामने आया है। नीतीश सरकार ने जदयू प्रदेश उपाध्यक्ष प्रो. नवीन कुमार आर्य को अतिपिछड़े वर्गों के लिए राज्य आयोग का अध्यक्ष बना दिया है। अब इस नियुक्ति पर राजद ने अपनी नाराजगी व्यक्त करते हुए कहा कि जब एक अन्य आयोग का अध्यक्ष पद जदयू को पहले ही मिल चुका है तो फिर इस दूसरे आयोग का अध्यक्ष पद राजद को मिलना चाहिए था।
राजद ने आरोप लगाया है कि इस आयोग में उसे जगह नहीं मिली। आरजेडी का कहना है कि महागठबंधन सरकार में दो आयोग का गठन हुआ। लेकिन किसी में भी राजद को उचित प्रतिनिधित्व नहीं मिला। जानकारी के अनुसार जदयू के ही प्रदेश प्रवक्ता अरविंद निषाद, मुंगेर के पूर्व जिला जदयू अध्यक्ष ज्ञानचंद पटेल तथा राजद नेता तथा कटिहार के पूर्व जिलाध्यक्ष तारकेशर ठाकुर को राज्य आयोग का सदस्य बनाया गया है।
इस नियुक्ति पर राजद नेता और एमएलसी रामबली चंद्रवंशी ने कहा कि महागठबंधन की सरकार में राजद एक बड़ी पार्टी है। अनुसूचित जन जाति आयोग के अध्यक्ष जब जेडीयू से बन चुके थे तो अभी जो अति पिछड़ा वर्गों के लिए आयोग का गठन हुआ, उसका अध्यक्ष राजद से होना चाहिए था, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। हम इस बात को पार्टी के आला नेतृत्व तक पहुंचाएंगे।