नयी दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली में निजामुद्दीन मरकज़ से निकाले गए करीब 2,300 से अधिक इस्लामी प्रचारकों को विभिन्न क्वारंटाइन सेंटरों और अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। लेकिन वे अब भी अपनी नीचता नहीं छोड़ रहे। अब वे उनकी जांच करने और सैंपल लेने वाले डॉक्टरों और नर्सों पर थूक रहे हैं। वे अलग—थलग नहीं रहना चाहते और तरह—तरह की फरमाइशी डिमांड कर रहे हैं। नहीं मानने पर डॉक्टरों—नर्सों से बहुत खराब व्यवहार कर रहे हैं।
उत्तर रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी ने बताया कि तबलीगी जमात निज़ामुद्दीन के 167 लोग बुधवार की देर रात 5 बसों में दिल्ली के तुगलकाबाद क्वारंटाइन सेंटर पहुंचे। 97 लोगों को डीजल शेड ट्रेनिंग स्कूल हॉस्टल में और बाकी 70 को आरपीएफ बैरक क्वारंटाइन सेंटर में रखा गया। उन्होंने कहा कि इन लोगों ने कर्मचारियों के साथ बुरा व्यवहार किया और डॉक्टरों समेत अन्य लोगों पर थूकना शुरू कर दिया।
जानकारी के अनुसार तबलीगी मरकज से लाये गए ये लोग सुबह से अनियंत्रित थे और खाने पीने की अनुचित मांग कर रहे थे। मांग नहीं मानने के बाद इन्होंने गाली—गलौज शुरू की फिर वहां काम करने वाले सभी लोगों और डॉक्टरों पर थूकना शुरू कर दिया। इसके बाद दक्षिण पूर्व दिल्ली के डीएम को मामले की जानकारी दी गई जिसके बाद उन्हें नियंत्रित करने के उपाय शुरू किये गए। फिलहाल वहां भारी सुरक्षा तैनात की गई है।