पटना : अक्टूबर में मुंगेर में दुर्गा पूजा के बाद विसर्जन के दौरान पुलिस द्वारा निहत्थे श्रद्धालुओं पर पहले पुलिस द्वारा बर्बरतापूर्वक लाठीचार्ज किया गया था। इसके बाद पुलिस ने निहत्थे श्रद्धालुओं पर गोली दागी थी। इसके बाद मामला तूल पकड़ने के बाद चुनाव आयोग ने मुंगेर एसपी को हटा दिया था। वहीं, अब जांच को लेकर बिहार सरकार की लापरवाही से नाराज पटना हाईकोर्ट ने आदेश दिया है कि हाईकोर्ट की निगरानी इस केस की जांच CID करेगी।
सीआईडी की टीम को एक महीने में जांच रिपोर्ट सौंपने को कहा गया है। इसके साथ ही हाईकोर्ट ने मुंगेर के मौजूदा एसपी, कोतवाली थानेदार के साथ-साथ गोलीकांड से जुड़े तमाम पुलिस अधिकारियों को हटाने का निर्देश दिया है। वहीं, कोर्ट ने पीड़ित परिवार को 10 लाख रूपये मुआवजा देने का भी आदेश दिया है।
ज्ञातव्य हो कि इस घटना को लेकर विपक्षी पार्टियों के नेताओं ने मुंगेर एसपी लिपि सिंह को जिम्मेदार बताया था। चिराग पासवान ने कहा था कि मुंगेर पुलिस के ऊपर 302 का मुक़दमा दर्ज होना चाहिए। श्रद्धालुओं को गोली मारना नीतीश के तालिबानी शासन को दिखाता है। स्थानीय एस॰पी॰ को तत्काल सस्पेंड कर 302 के तहत एफ़॰आई॰आर॰ दर्ज करवाए नीतीश कुमार जी। मृतक के परिवार को 50 लाख रुपए और एक सरकारी नौकरी दे सरकार।