84 दिनों बाद आज नीतीश कैबिनेट का विस्तार हो गया है। सैयद शाहनवाज हुसैन, श्रवण कुमार, मदन सहनी, प्रमोद कुमार, संजय कुमार झा, लेशी सिंह, सम्राट चौधरी, नीरज कुमार सिंह, सुभाष सिंह, नितिन नवीन, सुमित कुमार सिंह, सुनील कुमार, नारायण प्रसाद, जयंत राज, आलोक रंजन झा, जमा खान व जनक चमार ने मंत्री पद की शपथ ली।
कैबिनेट विस्तार को लेकर कहा जा रहा है कि इसबार विस्तार में देरी इसलिए हो रही है, क्योंकि जातीय व क्षेत्रीय समीकरण का ध्यान रखा जा रहा है। लेकिन, मंत्रिमंडल विस्तार के बाद न जातीय समीकरण का ध्यान रखा गया न क्षेत्रीय समीकरण का। इस बार भूमिहार छोड़कर सभी जाति के लोगों को शामिल किया गया है। यहाँ तक एक ही जिले के 3 नेताओं को मंत्री बनाया गया है।
नीतीश कैबिनेट में 4 राजपूत, 2 कुशवाहा, 2 ब्राह्मण, 2 वैश्य, 2 मुस्लिम, 1 चमार, 1 कायस्थ, 1 कुर्मी, 1 मल्लाह व 1 पासवान (दलित) को जगह मिली है।
कैबिनेट विस्तार को लेकर नाराजगी जताते हुए बाढ़ से भाजपा विधायक ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू ने पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए कहा कि पार्टी कुछ लोगों के चंगुल में फंस गई है। प्रधानमंत्री मोदी व अमित शाह को अंधेरे में रखा गया है। अगर पार्टी सही समय पर नहीं चेती तो बिहार में भाजपा का हाल छत्तीसगढ़, राजस्थान व मध्यप्रदेश की तरह हो सकती है।
ज्ञानू ने कहा कि एक ही जिले से 3 लोगों को मंत्री बनाया जा रहा है। वहीं, किसी कमिश्नरी से एक को भी नहीं, पूरे दक्षिण बिहार को नजरअंदाज किया गया है। न जातीय समीकरण का ध्यान रखा गया है न क्षेत्रीय समीकरण का। अनुभवहीन व दागी लोगों को मंत्री बनाया जा रहा है। सवर्णों को पूरी तरह नजरअंदाज किया जा रहा है, जो कि ठीक नहीं है। क्योंकि, सवर्णों ने ही पार्टी को खड़ा किया है।
इसके अलावा मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर भाजपा के अंदर भी नाराजगी पनप रही है। कर्तव्यनिष्ठ व काबिल लोगों को नजरअंदाज किये जाने के बाद दबी जुबां यह यह भी चर्चा हो रही है कि अगर केंद्रीय नेतृत्व जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं की नारजगी समझने में देर की तो पार्टी बिहार में भूमिगत हो सकती है।
1 शाहनवाज हुसैन- मुस्लिम (भाजपा)
2 श्रवण कुमार- कुर्मी (जदयू)
3 मदन सहनी- मल्लाह (जदयू)
4 प्रमोद कुमार- वैश्य (भाजपा)
5 संजय झा- ब्राह्मण (ब्राह्मण)
6 लेसी सिंह- राजपूत (जदयू)
7 सम्राट चौधरी- कुशवाहा (भाजपा)
8 नीरज सिंह बबलू-राजपूत (भाजपा)
9 सुभाष सिंह- राजपूत (भाजपा)
10 नितिन नवीन- कायस्थ (भाजपा)
11 सुमित कुमार सिंह- राजपूत (जदयू)
12 सुनील कुमार- दलित पासवान (जदयू)
13 नारायण प्रसाद- वैश्य (भाजपा)
14 जयंत राज- कुशवाहा (जदयू)
15 आलोक रंजन झा- ब्राह्मण (भाजपा)
16 जमा खान- मुस्लिम (जदयू)
17 जनक राम- चमार( भाजपा)