बिहार चुनाव: चुनाव आयोग ने जिलाधिकारियों को 15 दिनों के अंदर कार्ययोजना बनाने का दिया निर्देश

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कल देर शाम तक चुनाव आयोग चली बैठक में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने सभी डीएम को निर्देश दिया कि कोरोना महामारी को देखते हुए 15 दिनों के अन्दर चुनाव की कार्ययोजना बना कर आयोग को सौंप दें। सभी जिलाधिकारियों को कहा गया कि मतगणना केन्द्र और वज्र गृह की वैसी जगह की तलाश करें जहां जगह पर्याप्त हो ताकि कोरोना गाईडलाईन का भी ठीक से पालन हो सके।

1 लाख 6 हजार होंगे बूथ, पहले से 34 हजार बढ़े

इस बीच, बिहार में पहले से अधिक यानि करीब 34,000 अतिरिक्त मतदान केन्द्र बना लिए गये हैं। यह जानकारी समेकित रूप से जिलाधिकारियों द्वारा दी गयी। ऐसा, इसलिए कि पहले ही आयोग ने निर्देश जारी कर दिया था कि कोरोना संकट को देखते हुए अतिरिक्त मतदान केन्द्रों की स्थापना कर लें। हालांकि अभी यह चयन ही हुआ है, पर इसे जिलाधिकारियों ने फाईनल बताया है। आयोग ने बताया कि इस तरह बिहार में 1 लाख 6 हजार मतदान केन्द्रों पर वोटिंग होगी। आवश्यकता पड़ने पर बढ़ाया भी जा सकता है।

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मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने डीएम को निर्देश दिया कि गड़बड़ी पाये जाने पर ईवीएम और वीवीआईपैट को अविलम्ब बदलने की सिफारिश कर दें। इसमें आयोग से पूछना भी नहीं है। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी श्री श्रीनिवासन ने कहा कि प्रवासियों के नाम जुड़े अथवा नहीं? इसके जवाब में जिलाधिकारियों ने कहा कि करीब 80 प्रतिशत नाम जोड़ दिए गये हैं।

ग्राउंड-फील्ड का आकलन कर ही दें सभा का निर्देश

जिलाधिकारियों को पुराने दिशानिर्देशों को याद दिलाते हुए कहा गया कि जो राजनीतिक दल ग्रांउड अथवा मैदान में सभा करना चाहते हैं, उनकी क्षमता का आकलन कर लें। उन्हें बिना बाधा पहुंचाए यह भी देखें और संबंधित राजनीतिक दल के पदाधिकारियों को उसके बारे में बता दें। उन्होंने पुनः याद दिलायी कि चुनावी सभा पहले की तरह रेलमपेल नहीं होगी न ही भारी हुजूम हरेगा। कोरोना गाईडलाइन के अनुसार सोशल-डिस्टेस्अिंग के तहत ही होगा।

कांग्रेस ने सीईओ से चुनाव स्थगन की मांग

इधर, कल ही कांग्रेस ने एआईसीसी सदस्य इन्तेखाब आलम के नेतृत्व में एक डेलीगेशन मुख्य चुनाव आयोग से मिल कर मांग की है कि कोविड-19 तथा बाढ़ की विभीषिका को देखते हुए चुनाव स्थगित कर दिया जाए। इस आशय का पत्र कांग्रेस ने पटना भी भेजा है।

पत्र में जिक्र है कि बिहार में लगातार कोरोना मरीजों की संख्या बढ़ती ही जा रही है। पत्र में कहा गया है कि भाजपा व रूलिंग पार्टी जद-यू को छोड़ कर सभी पार्टियों ने चुनाव स्थगन की मांग की है। शिष्टमंडल ने यह भी कहा है कि एनडीए में शामिल लोजपा ने भी चुनाव स्थगन की मांग की है।

कोरोना और बाढ़ को बताया विकराल

शिष्टमंडल ने बिहार का नक्शा बनाते हुए दर्शाया है कि मुंगेर से शुरू होकर कोरोना ने पूरे बिहार को अपने आगोश में ले लिया है और संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। बाढ़ की चर्चा करते कहा है कि पूरे सूबे में 81 से भी अधिक लोग इससे प्रभावित हैं। तर्क यह भी दिया गष्या कि कोई भी क्षेत्रीय पार्टी चुनाव के समर्थन में नहीं है, इसलिए लोकभावना का ख्याल करते हुए चुनाव स्थगित कर दिया जाए

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