पटना: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ दक्षिण बिहार प्रान्त के पूर्व संघचालक, ऐतिहासिक उपन्यासकर व वर्तमान में प्रज्ञा प्रवाह की बिहार इकाई चिति के अध्यक्ष डॉ शत्रुघ्न प्रसाद का निधन हो गया। 88 वर्षीय शत्रुघ्न प्रसाद का निधन रात्रि के 1 बजकर 15 पर राजधानी के आईजीआईएमएस (IGIMS) के आपातकाल वार्ड में हुआ। वरिष्ठ स्वयंसेवक डॉ शत्रुघ्न प्रसाद का अंतिम संस्कार सुबह 11 बजे बांसघाट में किया जाएगा।
‘कश्मीर की बेटी’ व ‘दाराशिकोह’ जैसे कई ऐतिहासिक उपन्यासों के लेखक व राष्ट्रपति से पुरस्कृत शत्रुघ्न प्रसाद सिंह बीते दिनों ब्रेन हेमरेज हो गया था। आनन-फानन में उन्हें पटना के आईजीआईएमएस (IGIMS) के आपातकाल वार्ड में भर्ती कराया गया था।
शत्रुघ्न प्रसाद के परिवारवालों ने बताया कि पैर फिसलने के कारण वे बाथरूम में गिर गए थे। इसके बाद उनको अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने बताया कि प्रसाद ब्रेन हेमरेज के शिकार हो गए हैं। इसके बाद से स्थिति गंभीर बनी हुई थी।
उनके बड़े पुत्र व IGIMS के चिकित्सक डॉ विजयेंद्र ने बताया कि अनुभवी डॉक्टरों के नेतृत्व में उनका इलाज चल रहा था, ब्रेन का ऑपरेशन हुआ था लेकिन, स्थिति नाजुक होने की वजह से स्थिति चिंताजनक थी।अन्ततः आज रात्रि वे इस दुनिया को अलविदा कह गए।
डॉ शत्रुघ्न प्रसाद के निधन की खबर मिलते ही आरएसएस के पदाधिकारी, स्वयंसेवक, बिहार भाजपा के तमाम नेता के साथ-साथ बहुत सारे बुद्धिजीवी श्रद्धांजलि देने उनके आवास पर पहुंच रहे हैं।