Swatva Samachar

Information, Intellect & Integrity

Featured बिहार अपडेट

भीषण गर्मी एवं लू से बचने के लिए इन मापदंडों का करें पालन

पटना : जिला पदाधिकारी ने आम जनता से भीषण गर्मी एवं लू से सुरक्षा हेतु निर्धारित मापदंडों का पालन करने का आह्वान किया है। जिलेवासियों के नाम संदेश में कहा कि हमारे राज्य में गर्मी के महीनों में गर्म हवाएँ एवं लू चलती है। इसका प्रतिकूल प्रभाव हमारे शरीर पर भी पड़ता है, जो कभी-कभी घातक भी साबित हो सकता है। इस संबंध में दिये गये उपायों से लू/गर्म हवाओं के बुरे प्रभाव से बचा जा सकता है।

भीषण गर्मी एवं लू से बचाव हेतु जनहित में ‘‘क्या करें, क्या नही करें’’ जारी किया गया है। आम जनता इसका अनुपालन कर ऐसी घटनाओं को रोक सकते हैं।

(1) गर्म हवाएं / लू से सुरक्षा के उपाय

* स्थानीय मौसम के पूर्वानुमान और आगामी तापमान में परिवर्तन के बारे में विभिन्न विश्वसनीय माध्यम से लगातार जानकारियां लेते रहें।
* बार-बार पानी पीयें। सफर में अपने साथ पीने का पानी अवश्य रखें।
* धूप में जाते वक्त यथा संभव हल्के रंग के ढीले-ढाले एवं सूती कपड़े पहनें। गमछा या टोपी से अपने सिर को ढकें।
* हल्का भोजन करें, मौसमी फल जैसे-तरबूज, खीरा, ककड़ी, खरबूज, संतरा आदि का अधिकाधिक सेवन करें।
* घर में बने पेय पदार्थ जैसे लस्सी, नमक-चीनी का घोल, छाछ, नींबू-पानी, आम का पन्ना इत्यादि का नियमित सेवन करें।
* जानवरों को छाँव में रखें एवं उन्हें भी खूब पानी पीने को दें।
* अगर तवीयत ठीक न लगे या चक्कर आये तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

(2) लू लगने पर क्या करें ?

* लू लगे व्यक्ति को छाँव में लिटा दें। अगर उनके शरीर पर तंग कपड़े हों तो उसे ढीला कर दें अथवा हटा दें।
* लू लगे व्यक्ति का शरीर गीले कपड़े से पोछें या ठंडे पानी से नहलाएं एवं बार-बार गीले कपड़े से शरीर को पोछें।
* संबंधित व्यक्ति को ओआरएस, नींबू पानी, नमक-चीनी का घोल, छाछ या शर्वत पीने को दें, यह शरीर में जल की मात्रा को बढ़ाता है।
* लू लगे व्यक्ति को शीघ्र नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र में ले जायें।

(3) क्या न करें ?

* कड़ी धूप में बाहर न निकलें।
* अधिक तापमान में क्षमता से ज्यादा शारीरिक श्रम न करें।
* प्रोटीन युक्त भोजन जैसे मांस, अंडा व सूखे मेवे जो शारीरिक ताप को बढ़ाते हैं, का सेवन कम करें।
* लू के कारण पानी की उल्टियां करे या बेहोश हो जाये तो उसे कुछ भी खाने-पीने को न दें।
* बच्चों एवं पालतू जानवरों को बंद वाहनों में न छोड़ें।
* दोपहर के समय मवेशियों को चराने के लिए बाहर निकलने से बचें।