बीएड, एमएड, डाक्टरेट के बाद भी नौकरी के लिए दर—दर भटक रहा युवक

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छपरा : सारण जिलांतर्गत गरखा थाना क्षेत्र निवासी स्वर्गीय गणेश मिश्रा के द्वितीय पुत्र देवेंद्र कुमार मिश्रा ने ग्रामीण परिवेश में रहने के बावजूद डॉक्टरेट की उपाधि प्राप्त की है। बताते चलें कि वर्ष 2001 में पिता की मृत्यु के बाद उन्होंने जीविकोपार्जन जुटाते हुए लक्ष्मी नारायण ब्राह्मण उच्च विद्यालय छपरा से मैट्रिक की पढ़ाई पूरी की। फिर गुरुकुल संस्कृत महाविद्यालय से उपशास्त्री व शास्त्री की परीक्षा दी। जबकि आचार्य के लिए मुजफ्फरपुर जाना पड़ा। उनके लिए पढ़ाई का जुनून ऐसा रहा कि राष्ट्रीय संस्कृत संस्थान से बीएड की पढ़ाई भी उन्होंने पूरी कर ली। फिर अगले वर्ष जम्मू परिसर से एमएड की पढ़ाई की। राष्ट्रीय संस्कृत संस्थान लखनऊ परिसर से डॉ देवी प्रसाद द्विवेदी के निर्देशन में अब उन्होंने पीएचडी की उपाधि पाई है। यही नहीं, वर्ष 2007 में छठे प्रयास के बाद यूजीसी नेट की पात्रता परीक्षा पास की। विडंबना यह है कि इतनी पढ़ाई के बाद भी आज वे नौकरी की तलाश में दर—दर की ठोकरें खा रहे हैं।

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