कोरोना संक्रमण को ले सदर अस्पताल सतर्क, नवजातों की हो रही विशेष देखभाल
सारण : वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के संक्रमण का प्रसार रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग की ओर से कई अहम प्रयास किए जा रहें है। इस संक्रमण से बचने के लिए लोग एहतियात बरत रहे हैं। वहीं ऐसे माहौल में जन्म लेने वाले नवजातों को लेकर अस्पताल प्रबंधन पूरी तरह से सतर्क है। अस्पताल की एसएनसीयू (सिक न्यूबोर्न केअर यूनिट) में भर्ती बच्चों को जहां मां पहले उनके पास जाकर उन्हें देख सकती थीं, लेकिन अब मां और बच्चे के बीच कांच की दीवार आ चुकी है।
गौरतलब है, कि एसएनसीयू में भर्ती बच्चों को कोरोना संक्रमण से बचाने के लिए अस्पताल प्रबंधन द्वारा बच्चों के परिजनों सहित मां को वार्ड में अंदर नहीं आने दिया जा रहा है। ऐसे में जच्चा अगर अपने बच्चे को देखना चाहता है, तो प्रबंधन द्वारा बनाए गए कांच के रूम में देख सकता है। रूम में मां अपने बच्चे का कांच की दूसरी साइड खड़े होकर दुलार सकती है।
दूध पिलाने से पहले साबुन से धुलाए जाते हैं हाथ, फिर कराए जाते हैं सैनिटाइज :
एसएनसीयू में बच्चों को स्तन पान कराने के लिए आने वाली माताओं को स्टाफ द्वारा सबसे पहले दो बार साबुन से हाथ धुलाए जाते है। उसके बाद सेनेटाइज कराए जाते हैं। उसके बाद ही मां अपने बच्चे को स्तर पान करा पाती है। बच्चों को संक्रमण से बचाने के लिए इस प्रकार के कदम उठाए जा रहे हैं। इसके अलावा नौनिहालों को संक्रमण से बचाने के लिए वार्ड स्टाफ पूरी सावधानी बरत रहे हैं.
स्तनपान कराने से पहले अच्छी तरह हाथ धोयें :
सिविल सर्जन डॉ माधवेश्वर झा ने बताया कि छह माह से कम उम्र वाले शिशु को स्तनपान कराते समय साफ सफाई का पूरा ध्यान रखना जरूरी है। स्तनपान कराने से पूर्व हाथों को साबुन से अच्छी तरह धो लें। साफ तौलिये का इस्तेमाल हाथों को पोछने के लिए करें। स्तनपान कर रहे बच्चों की माताएं अपनी व्यक्तिगत साफ सफाई का पूरा ध्यान रखें।
इन बातों का रखें ध्यान :
• मां को हमेशा मास्क पहनकर रहना होगा. इसके अलावा सांस लेने में हाईजीन के नियमों का पालन करना होगा.
• नवजात शिशु को लेने से पहले और बाद में हाथ जरूर धोएं. यह नियमित रूप से हर बार करना होगा.
• बच्चे को लेकर घर या अस्पताल में जिन भी जगहों पर आप जा रहे हैं, वहां साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें.
आर्थिक तंगी से जूझ रहे शिक्षक सब्ज़ी बेचने को हुए मजबूर
सारण : बिहार राज्य शिक्षक संघर्ष समन्वय समिति द्वारा हड़ताल के 61 दिन के बाद सारण जिला शिक्षक संघर्ष समन्वय समिति के तत्वधान में कोरोना वायरस बैश्विक आपदा के बीच लोगों में सोशल डिस्टेंसिंग के साथ कोरोना के पाठ पढ़ा रहे हैं। जहां मास्क, सैनिटाइजर का वितरण कर जान माल की सुरक्षा में अहम भूमिका अदा करते हुए देखे गए। वहीं इस बीच कई शिक्षकों में आर्थिक संकर के कारण शिक्षक सब्जी बेचने को भी मजबूर हो गए है। शिक्षक ठेले पर सब्जी बेच रहे हैं जहां समन्वय संघर्ष समिति के नेताओं ने सरकार की नीतियों को धूत काटते हुए अपनी मांग पर अडिग रहने की बात कही।
लॉक डाउन पटना से नेपाल पैदल ही निकले पड़े युवक
सारण : रेल लाइन पकड़ कर पटना से चलकर नेपाल जाने वाले 20 युवकों को जिले के मढौरा के समीप तेजपुरवा हाल्ट पर आराम कर रहे नेपाली युवकों को ग्रामीणों ने कोरोना संक्रमित संदिग्ध होने के शक में सभी युवकों को ग्रामीणों ने घेर लिया तथा प्रशासन को सूचना दी। जहां मौके पर पहुंची प्रशासन ने सभी का प्रारंभिक जांच कराया तथा जाँच के बाद उन्हें छोड़ दिया गया। बताया जाता है कि रास्ते की जानकारी नहीं होने के कारण तथा लॉक डाउन के कारण उनके पास से पैसे खत्म हो जाने और समस्या होने पर युवकों ने रेल लाइन ही पकड़कर घर जा रहे थे।
राशन नहीं मिलाने पर दर्जनों उपभोगताओं ने किया हंगामा
सारण : मांझी प्रखंड क्षेत्र के दाउदपुर पंचायत में राशन नहीं मिलने पर दर्जनों उपभोक्ताओं ने जम कर हंगामा किया। प्राप्त जानकारी के अनुसार शुक्रवार को जब उपभोक्ता राशन के लिए डीलर हरिशंकर साह के पास पहुंचे। डीलर ने जब कहा कि राशन समाप्त हो गया है तो उपभोक्ता भड़क गए। उसके बाद डीलर के ऊपर मनमानी करने का आरोप लगाने लगे। लोगों का कहना था कि लॉक डाउन में सरकार और विभाग द्वारा कहा जा रहा है कोई भी उपभोक्ता राशन से वंचित नही होगा। वहीं हम लोग चार दिनों से राशन के लिए दुकान का चक्कर लगा रहे है।
लोगो ने डीलर से तत्काल एमो और सीओ को बुलाने की बात कही और अपनी जिद्द पर बैठ गए। उसके बाद डीलर ने एमओ को मोबाइल पर इस घटना की पूरी जानकारी दी। उसके बाद डीलर ने वंचित लोगों को आश्वासन दिया कि मई माह में उनको राशन उपलब्ध कराया जाएगा। डीलर हरिशंकर ने बताया कि विभाग से राशन का आवंटन कम मिला है। सूची के अनुसार 970 यूनिट पर महज 1396 क्विंटल गेंहू और 2094 क्विंटल चावल तथा निशुल्क वितरण के लिए 3215 क्विंटल चावल उपलब्ध कराया गया है। जिसमें 92 कार्डधारियों को वितरित की गई है। जबकि अभी 65 लाभार्थी राशन उठाव से वंचित रह गए हैं।
न्याय फाइटिंग फॉर द पीपल के संस्थापक ने ख़ुद शहर में चलाया सैनिटाइजेशन अभियान
सारण : न्याय फाइटिंग फ़ॉर द पीपल के संस्थापक महासचिव मो सुल्तान हुसैन इदरीसी ने कोरोना आपदा को देखते हुए निगम द्वारा सैनिटाइज नहीं करने की वजह से खुद मशीन खरीद सैनिटाइज कार्य शुरू किया। सैनिटाइज का कार्य करते हुए उन्होंने बताया कि पूरे देश का सरकारी महकमा कोरोना वायरस की रोक थाम के लिए प्रयाश और कार्य में लगा है। मगर छपरा नगर निगम इस दिशा में क्या कार्य कर रहा है वह पूरा शहर देख रहा और चिन्तित है।
छपरा नगर निगम सिर्फ खानापूर्ति कर रहा है, पूरे शहर में कई जगहों पर नाले का पानी और कचरा लगा हुआ है। मगर निगम सिर्फ सरकारी आवास और पहुँच वाले लोगों को ही अपनी सुविधा दे रहा है। आम नागरिकों के लिए बस खानापूर्ति ही की जा रही है। चाहे बिलीचिंग का छिड़काव हो चाहे फॉगिंग कार्य सब में सिर्फ खानापूर्ति किया गया।निगम अधिकारियों को शिकायत हेतु कॉल करने या msg करने पर कोई रिप्लाइ न कर उल्टे नम्बर ब्लॉक कर दिया जा रहा है।।
सुल्तान हुसैन इदरीसी ने कहा की अगर प्रसाशन इजाजत दे तो पूरे शहर को सेनेटराज करने का कार्य खुद के व्यवस्था से करने को तैयार हूं।
युवतियों ने ग्रुप बना बनाई 5000 मास्क
सारण : करना महामारी से निपटने के लिए स्थानिय सांसद राजीव प्रताप रुड़ी के मार्गदर्शन और शैलेन्द्र सेंगर के सौजन्य से छपरा विधानसभा के नैनी गाँव में छपरा सदर मंडल अध्यक्ष विश्वास गौतम के द्वारा गाँव की ही प्रियंका सिंह, गुड़िया कुमारी, ममता कुमारी, संध्या कुमारी, कलावती देवी और मुन्नी देवी ने मास्क की कमी को देखते हुए अपने सहयोग से 5000 मास्क बनवाया जा रहा है।
शारदा संघ ने जरूरतमंदों के बीच राहत सामग्री का किया वितरण
सारण : शारदा सेवा संघ के द्वारा छपरा शहर के प्रभुनाथनगर गरीब मजदूर एवं जरूरतमंद लोगों के बीच सूखा राशन का वितरण किया गया। कोरोना महामारी के चलते पूरा देश में लॉक डाउन नियम लागू किया गया है जिसके चलते लोग घर से बाहर नहीं निकल रहे हैं। इस स्थिति में मजदूर गरीब असहाय लोगों के लिए काफी मुश्किल भरी यह दिन झेलनी पड़ रही है जिसके चलते दो वक्त की भोजन ही नसीब होना मुश्किल हो गया है इस स्थिति को देखते हुए रामकृष्ण मिशन आश्रम के द्वारा स्थापित महिला शारदा सेवा संघ संगठन काफी तत्परता के साथ गरीब असहाय लोगों के लिए मसीहा बनकर काम कर रही है। जिससे गरीब असहाय मजदूरों को आसानी से राशन मिल रहा है और गरीब काफी इस संगठन के सराहना कर रहे हैं। वही इस संगठन में चंद्रप्रभा सिंह, पुष्पा सिंह,सरिता सिंह, भरपूर सहयोग कर रही है।
अपनी नाकामियों को छिपा रही सरकार : शिक्षक संघ
सारण : माध्यमिक शिक्षक संघ के परीक्षा सचिव विद्यासागर विद्यार्थी ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर बताया कि अपनी नाकामियों को सरकार छूपा रही है। यह अत्याचार है। यह अत्याचार चौदह सालों से चला आ रहा है। सरकार भूल रही है कि हमेशा सत्य की विजय होती है। अत्याचार कितनी भी वीरता से लड़ा जाय विजयी नहीं हो सकता। जब तक नियोजित शिक्षकों को लेवल 7 और 8 सरकार नहीं दे देती तब तक हड़ताल ऐसा ही चलता रहेगासंयुक्त सचिव विष्णु कुमार ने कहां की बिहार सरकार में वर्तमान शिक्षा मंत्री श्री कृष्णनंदन वर्मा अपने व्यक्तव्यों द्वारा सिर्फ विधवा विलाप ही कर रहे हैं। शिक्षा विभाग पर ताला लग जाएगा का विलाप घोर अत्याचार है। चौदह साल में सेवा शर्त, स्थानांतरण, पंचायती राज व्यवस्था के कलंक को हटाने में सरकार को कोई वित्तीय भार नहीं पड़ रहा है। सरकार या तो नहीं करना चाहती या अपनी अभी तक की घोर अवहेलना कार्यविमुखता नाकामियों को बातों से ढक रही है। पूर्व अनुमंडल सचिव नागेंद्र सिंह ने बताया की सर्वोच्च न्यायालय ने अनुच्छेद 45 और इसके साथ जोड़कर अनुच्छेद 21की व्याख्या में कहा था —- “ज्ञान देने वाली शिक्षा-शिक्षक के बगैर इंसान का जीवन निरर्थक है मैं आग्रह करता हूं कि सरकार समय रहते शिक्षकों की समस्या को समझे और उनके मांगों को अति शीघ्र देकर हड़ताल समाप्त करवाने का कार्य सरकार करें।