मोबाइल एप्लीकेशन से नवजात शिशुओं को मौत से बचा रहे केयर इंडिया के कर्मी
मधुबनी : स्वास्थ्य विभाग व केयर इंडिया द्वारा नवजात शिशु मृत्यु दर को और कम करने की कवायद में अब अत्याधुनिक तकनीक का सहारा लिया जा रहा है। इसके लिए राफ्ट मोबाइल एप्लीकेशन के सहारे पूरी व्यवस्था की देखभाल हो रही है। इसमें स्वास्थ्य कर्मी ऑनलाइन जीपीएस के माध्यम से नवजात शिशु के साथ अपनी तस्वीर दे रहे हैं। इस माध्यम से नवजात शिशु की मृत्यु दर को कम करने का प्रयास किया जा रहा है।
मधुबनी जिले में 1000 शिशु में 32 की मौत का आंकड़ा है। इसे घटाकर 25 के नीचे लाने के लिए यह कवायद हो रही है। इस आंकड़े में एक माह के अंदर 25 बच्चे की मौत हो जाती है, जिनमें 20 कमजोर नवजात शिशु होते हैं। इन्हीं कमजोर नवजात शिशु बच्चों की पहचान कर छह महीने तक उसकी विशेष देखभाल स्वास्थ्य कर्मी करने में लग गए हैं।
कैसे होती है देखभाल
चिह्नित किए गए बच्चों की देखभाल के लिए लगातार तीन दिन केयर इंडिया के कर्मी बच्चों के घर जाते हैं। मोबाइल एप्लीकेशन राफ्ट पर तस्वीर अपलोड की जाती है। फिर उचित देखभाल की सलाह दी जाती है। चौथे दिन और सातवें दिन प्रखंड स्तरीय स्वास्थ्य प्रबंधक मौके पर पहुंचकर इसी प्रक्रिया को दोहराते हैं। केयर इंडिया के डीटीएल महेंद्र सिंह सोलंकी ने बताया कि मधुबनी जिले में इसके लिए सभी प्रखंड के स्वास्थ्य प्रबंधकों को जिम्मेदारी दी गई है, जो सभी 21 प्रखंडों में कार्यरत हैं।
जिले में 1574 बच्चों को किया गया चिह्नित-केयर इंडिया द्वारा अप्रैल 2021 से अब तक 1574 कमजोर नवजात बच्चे को चिह्नित कर राफ्ट एप्लीकेशन के माध्यम से देखभाल की गई। जिसमें सदर हॉस्पिटल मधुबनी के 205, फुलपरास 67, लखनौर 24, घोघरडीहा 67, बाबूबरही 72, बेनीपट्टी 80, हरलाखी 109, बिस्फी 70, बासोपट्टी 71, खुटौना 92, खजौली 43, लदनिया 28, कलुआही 12, पंडौल 60, राजनगर 87, मधेपुर 131, मधवापुर 17, अंधराठाढी 31, झंझारपुर 113, जयनगर 96, रहिका सदर 32, लौकही 66 कमजोर नवजात बच्चे को चिह्नित किया गया।
कैसे की जाती है देखभाल
•सात दिनों तक नवजात को स्नान नहीं कराना।
•दिन में 10 से 12 बार स्तनपान व रात्रि में 3 से 4 बार स्तनपान कराना
•नाभि में कुछ भी नहीं लगाना
•नवजात को केवल स्तनपान कराना
•कंगारू मदर केयर की देखभाल
•अतिरिक्त गर्माहट देने के लिए ऊनी कपड़े का प्रयोग
•बोतल का प्रयोग पूर्णत वर्जित
कुपोषित बच्चों की कैसे की जाती है पहचान
•जन्म के समय 2000 ग्राम या 2000ग्राम से कम वजन
•37 सप्ताह से पूर्व जन्म लेना
•स्तनपान करने में नवजात का सक्षम नहीं होना
स्वच्छ भारत मिशन फेज-दो का डीडीसी ने किया शुभारंभ
मधुबनी : जिला ग्रामीण विकास अभिकरण अभिकरण मधुबनी के सभागार में उप-विकास आयुक्त सह उपाध्यक्ष जिला एवं स्वच्छता समिति विशाल राज की अध्यक्षता में लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान, स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) फेज-2 का उन्मुखिकरण कार्याशाला-सह-प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। इस कार्यक्रम का उद्घाटन डायरेक्टर लेखा प्रशासन डाॅ० राजेश्वर प्रसाद, डीसी संजीव कुमार, जिला सलाहकार रंजीत कुमार, अमृता कुमारी, राजीव कुमार ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया।
डीडीसी द्वारा प्रशिक्षण में भाग ले रहे सभी जिला स्तरीय पदाधिकारी-सह-जिला जल एवं स्वच्छता समिति के सदस्य, प्रखंड स्तरीय पदाधिकारी सह प्रखंड परियोजना अनुश्रवण इकाई के सदस्य एवं वित्तीय वर्ष 2021-22 के लक्षित ग्राम पंचायत के मुखिया को संबोधित किया।
डीडीसी द्वारा प्रशिक्षणार्थियों को बताया गया कि लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के प्रथम चरण में सभी को शौचालय की सुलभता उपलब्ध कराते हुए ग्राम पंचायतों को खुले में शौच से मुक्त स्वघोषित किया गया था। द्वितीय चरण में प्रथम चरण के दौरान खुले में शौच से मुक्त स्वघोषित किये गये ग्राम पंचायतों को स्थायित्व प्रदान किया जाना है। स्थायित्व के लिए प्रथम चरण के दौरान छूटे हुए परिवार एवं नये परिवार को शौचालय की सुलभता उपलब्ध कराते हुए चरणबद्ध तरीके से ओडीएफ प्लस का निर्माण किया जाना है।
सक्षम बिहार-स्वावलंबी बिहार, सात निश्चय योजना के अंतर्गत स्वच्छ गांव-समृद्ध गांव की परिकल्पना को साकार किया जाना है। प्रशिक्षणार्थियों को संबोधित करते हुए बताया गया कि ठोस एवं तरल कचरा प्रबंधन के क्रियान्वयन के लिये सभी का सक्रिय भागीदारी के लिए कार्यशाला द्वारा क्षमतावर्धन किया जा रहा है। सभी को एक टीम के रूप में कार्य करते हुए लक्षित ग्राम पंचायत को ओडीएफ प्लस बनाना है।
संक्रमण काल में मानसिक स्वास्थ्य की महत्ता पर हुई चर्चा
मधुबनी : संक्रमण काल में मानसिक रूप से मजबूत रहना इस कठिन समय से निकलने के लिए आवश्यक है. जरुरी है की आमजन मानसिक अवसाद की स्थिति से बचें और इसके लक्षणों को समझे। अपनों से संपर्क में रहना, दिमाग को अपने कार्यों में व्यस्त रखना और सकारात्मक सोच बनाये रखना, इस संक्रमण काल से सकुशल निकलने में सभी के लिए सहायक सिद्ध होगा”, उक्त बातें डॉ. राजेश कुमार, विभागाध्यक्ष, मानसिक स्वास्थ्य विभाग, इंदिरा गाँधी आयुर्विज्ञान संस्थान ने वेबिनार में मानसिक स्वास्थ्य की महता के बारे में जानकारी देते हुए कही।
“आस्क द डॉक्टर” सीरीज के तहत यूनिसेफ, विश्व स्वास्थ्य संगठन एवं इंदिरा गाँधी आयुर्विज्ञान संसथान के तत्वावधान में वेबिनार का आयोजन किया गया जिसमे चिकित्सकों, स्वास्थ्य विशेषज्ञों एवं UN agencies के कार्यकर्ताओं और सहयोगी संस्थानों स्वामसेवी संस्थाओं के करीब 400 प्रतिभागियों ने वेबिनार में अपनी उपस्थिति दर्ज करायी और विशेषज्ञों द्वारा अपने सवालों के जवाब पाया।
बच्चे, महिलाएं और हाशिए पर रहने वाली आबादी सबसे ज्यादा प्रभावित- नफीसा शफीक वेबिनार के शुभारंभ यूनिसेफ की राज्य पदाधिकारी नफीसा शफीक ने बताया कि संक्रमणकाल ने सभी को प्रभावित किया है और इस समय बच्चे, महिलाएं और समुदाय के वंचित वर्ग के लोग सबसे ज्यादा ग्रसित हैं. ससमय उपचार की व्यवस्था एवं समुदाय को मानसिक/सामाजिक सहारे की जरुरत है. उन्होंने बताया कि एक शोध के अनुसार करीब 28 प्रतिशत किशोरियां मानसिक अवसाद की स्थिति से गुजर रहीं हैं और सभी को इसपर ध्यान देने की आवश्यकता है।
देश की 15 करोड़ आबादी है मानसिक बिमारियों से ग्रसित- डॉ. राजेश कुमार डॉ. राजेश कुमार, विभागाध्यक्ष, मानसिक स्वास्थ्य विभाग, इंदिरा गाँधी आयुर्विज्ञान संस्थान ने वेबिनार में मानसिक स्वास्थ्य की महता के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि कोविड संक्रमण का दौर सभी के लिए कई चुनौतियाँ लेकर आया है और इस समय मानसिक रूप से स्वस्थ और मजबूत रहकर संक्रमण काल का मुकाबला किया जा सकता है. मानसिक अवसाद की स्थिति उत्पन्न न हो इसके लिए इसके लक्षणों की पहचान जरुरी है।
डॉ. राजेश कुमार ने बताया कि मानसिक स्वास्थ्य पर 2015-16 में निमहांस बंगलुरु द्वारा सर्वे में यह पाया गया की देश की लगभग 15 करोड़ की आबादी किसी न किसी तरह के मानसिक रोग से ग्रसित है. देश की अनुमानित करीब 40 लाख की आबादी को तत्काल अस्पताल में भर्ती होकर चिकत्सीय प्रबंधन की आवश्यकता है. उन्होंने बताया कि संक्रमण काल में स्वास्थ्यकर्मियों को मानसिक रूप से स्वस्थ रहना जितना जरुरी है वहीँ सभी को मानसिक एवं सामाजिक सहारे की जरुरत है ताकि लोग मानसिक रूप से स्वस्थ रह सकें.
कोविड संक्रमण से निपटने में राज्य सरकार पूरी तरह सक्षम
डॉ. राजेश वर्मा वेबिनार को संबोधित करते हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन के डॉ. राजेश वर्मा ने बताया कि राज्य सरकार और स्वास्थ्य विभाग कोरोना की चुनौती से सफलतापूर्वक निपटने को प्रतिबद्ध है. संस्थागत ढांचे से लेकर मरीजों को त्वरित उपचार उपलब्ध कराना विभाग का लक्ष्य है और इसके लिए सभी जरुरी इंतजाम किये गए हैं. उन्होंने बताया कि 12 हजार से अधिक ऑक्सीजनयुक्त बेड एवं 502 आईसीयू बेड अस्पतालों में उपलब्ध हैं. राज्य में 6.5 लाख से अधिक लोगों की कोरोना जांच की गयी है और राज्य में ओमिक्रोन वैरिएंट से संक्रमित 67 मरीज पाए गए हैं।
वेबिनर को संबोधित करते हुए यूनिसेफ के डॉ. सिद्धार्थ रेड्डी ने बताया कि ओमिसंक्रमण का प्रसार तेजी से जरुर हुआ है लेकिन यह डेल्टा वैरिएंट की तरह घटक साबित नहीं हुआ है। ज्यादातर संक्रमित मरीजों को होम आइसोलेशन में रहने की सलाह दी जा रही है और वे स्वस्थ हो रहे हैं. इस समय टीकाकरण, कोविड अनुरूप आचरण का पालन संक्रमण से सुरक्षा का सबसे सशक्त तरीका है।
वेबिनार का संचालन निपुण गुप्ता, संचार विशेषग्य, यूनिसेफ और डॉक्टर सरिता वर्मा ने किया निपुण ने कहा संक्रमण से लड़ाई में उपचार एवं सहयोग के साथ उम्मीद की अलख समुदाय तह पहुंचाने की जरुरत है. इंदिरा गाँधी आयुविज्ञान संस्थान के मानसिक रोग विभाग की क्लिनिकल साइकोलोजिस्ट डॉ. प्रिया कुमार ने बताया मानसिक समस्याओं की स्थिति में प्रारंभिक लक्षणों को पहचानकर मानसिक प्राथमिक उपचार करना एवं गंभीर मरीजों के लिए तत्काल चिकित्सीय प्रबंधन की जरुरत है।
प्रखंड में मिले नए नौ कोविड पॉजीटिव
मधुबनी : जिले के खजौली प्रखंड में कोरोना पॉजीटिव के नए नए मामले लगातार आ रहे है। दो दिनों में प्रखंड में कोरोना पॉजीटिव के नौ नए मामले सामने आए हैं। बुधवार को जहां दो मामले सामने आए थे, वहीं गुरुवार को भी एंटीजन कीट से कुल 155 लोगों की हुई। जांच में दो बच्चा समेत सात व्यक्ति पॉजीटिव मिले।
इस बाबत एलटी श्याम कुमार ने बताया कि स्थानीय तरापट्टी गांव के दो, मृकिया के एक, दतुआर के एक, खजौली के एक, सेलीबेली के एक, दतुआर के दो बच्चा समेत तीन तथा लसकरिया के दो व्यक्ति पॉजीटिव मिले। उन्होंने बताया कि सभी पॉजीटिव व्यक्तियों को सीएचसी स्तर से आवश्यक दवा दी गई एवं आईसोलेशन में रहने की सलाह दी गई।
जिला पदाधिकारी को पत्र लिख कार्यपालक पदाधिकारी पत्र को बताया नियम बिरुद्ध उचित कार्रवाई की मांग
मधुबनी : जिले के खजौली प्रखंड के दतुआर पंचायत से पंचायत समिति सदस्य नागमणि सिंह ने जिला पदाधिकारी को एक पत्र भेजकर कार्यपालक पदाधिकारी पंचायत समिति, खजौली द्वारा मनमाने तरीके से पंचायत समिति के बैठक की सूचना करने का आरोप लगाते हुए उचित कार्रवाई की मांग की है। नागमणी सिंह ने आवेदन में उल्लेख किया है कि पंचायत समिति की 29 जनवरी, 22 को आयोजित होने वाली बैठक में भाग लेने हेतु जिला परिषद सदस्यों से भी अनुरोध किया गया है, जो बिहार पंचायत राज अधिनियम 2006 (यथा संशोधित) की धारा 36 तथा बिहार पंचायत राज संस्था (कार्य संचालन) नियमावली 2015 के नियम- 13 के विरुद्ध है।
वहीं बैठक की निर्धारित तिथि 29 जनवरी, 2022 से तीन दिन पूर्व उन्हें बैठक की सूचना का पत्र प्राप्त कराया गया, जो बिहार पंचायत राज अधिनियम 2016 (यथा संशोधित) की धारा 46(चार) एवं बिहार पंचायत राज संस्था (कार्य संचालन) नियमावली, 2015 के नियम 16(एक) व 16(तीन) के विरुद्ध है। जिस वजह से उक्त नियमावली के नियम 36(एक) के तहत प्रश्न पूछने संबंधी प्राप्त अधिकार से उन्हें वंचित होना पड़ेगा।
उन्होंने पत्र में इसे प्रमुख एवं कार्यपालक पदाधिकारी पंचायत समिति खजौली के नियम विरुद्ध कार्य करने की मंशा करार देते हुए उचित कार्रवाई का आग्रह किया है, ताकि समिति की सामान्य एवं विशेष बैठक सहित अन्य कार्यवाही बिहार पंचायत राज अधिनियम 2006 (यथा संशोधित) बिहार पंचायत राज संस्था कार्य संचालन नियमावली, 2015 एवं उच्चाधिकारी के आदेश के अनुकूल हो सके।
महावीर झंडा को ले 251 कन्याओं के द्वारा निकाली गयी कलश शोभायात्रा
मधुबनी : जिले के हरलाखी प्रखंड के फुलहर गांव में दस दिवसीय महावीर झंडा व मेला को लेकर 251 कन्याओं के द्वारा भव्य कलश शोभायात्रा निकाली गयी. कलश यात्रा पूजा स्थल से शुरू हुई और गाजे बाजे के साथ पूरे गांव का भ्रमण करते हुए इंडो नेपाल बॉर्डर स्थित जमुनी नदी पहुंची. जहां सभी कुमारी कन्याओं ने कलश में पवित्र जल भरकर वापस महावीर जी के झंडा के निकट पहुंची।
उसके बाद पहले से मौजूद पंडितों के द्वारा वैदिक मंत्रोच्चार के साथ सभी कलश को बारी बारी से स्थापित कराया गया। इस दौरान जय श्रीराम, जय हनुमान की जयकारे से पूरे क्षेत्र गुंजयमान हो रहे है। मेला में टॉवर झूला, मीणा बाजार, ब्रेक डांस बच्चों के आकर्षक का केंद्र बना हुआ है। वहीं मेला को देखने के लिए भारत व नेपाल दोनों देशों के दूर दराज के लोग आ रहे है और आकर्षक महावीर झंडा का दर्शन कर मेले का लुफ्त उठा रहे है।
महावीर झंडा कमिटि के अध्यक्ष दिलभजन महतो, राजेश कुमार साह, संजय कुमार, जितेन्द्र साह, सरोज यादव, इन्दल यादव, रवीन्द्र गिरी, अमरेश यादव, मुरारी गिरी, अजय पासवान, चंद्रशेवर राम, संजय कुमार, अमित कुमार सिंह समेत अन्य लोगों ने बताया कि पिछले कई वर्षों से पूरे ग्रामीणों के सहयोग से झंडा पूजा और मेला होता आ रहा है।
सुमित कुमार की रिपोर्ट