पति ने साथ ले जाने से किया मना, तो महिला ने लगा ली आग
आरा : एक महिला ने बक्सर जिला के सोनबर्षा आउट पोस्ट के मडिहा गाँव में एक महिला ने आग लगाकर ख़ुदकुशी का प्रयास किया| उसे तत्काल आरा सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया है| महिला का नाम धनपति देवी 30 वर्ष है जो भोजपुर जिला के जगदीशपुर थानान्तर्गत कुनयी गाँव के हरेन्द्र बिन्द की पत्नी है|फिलवक्त वह अपने मायके में रह रही थी| पति द्वारा अपने साथ रखने से मना किये जाने से नाराज धनपति देवी ने आग लगाकर खुदकुशी का प्रयास किया।
धनपति देवी ने बताया कि उसकी शादी आठ वर्ष पूर्व हुई थी। लेकिन उसका पति हर चार दिन के बाद उसे उसके मायके छोड़ देता हैं। वापस ससुराल भी नहीं ले जाता हैं। चार दिन पूर्व भी उसके पति ने उसे मायके में घर के बाहर छोड़कर चला गया था| गुरुवार को ससुराल जाने के लिए वह फोन पर अपने पति से बात कर रही थी। तभी दोनों के बीच कहासुनी हुई, जिसके बाद गुस्से में आकर खुद को आग लगा ली। इससे वह बुरी तरह झुलस गई। उसे इलाज के लिए आरा सदर अस्पताल लाया गया।
मुख्य मंत्री के सपनो का गाँव आज बदहाल स्थिति में
आरा : भोजपुर जिले का सखुआ गाँव आज बुनियादी सुवाधाओं का मोहताज़ हो गया है| करीब चार साल पहले बिहार के मुख्य मंत्री नितीश कुमार खुस अपने ड्रीम प्रोजेक्ट सात निश्चय योजना का जायजा लेने खुद आये थे और सखुआ ग्राम को अपने सपनों का गाँव बताया था पर वर्तमान में यह गांव बुनियादी सुविधाओं के अभाव से जूझ रहा है।
आदर्श ग्राम का अर्थ हुआ कि वह गाँव सारी सुविधाओं से परिपूर्ण होगा। लेकिन वास्तविक सच्चाई इससे बिल्कुल अलग है। आदर्श ग्राम में आज भी सुविधाओं का टोटा है. भोजपुर के उदवंतनगर प्रखंड अंतर्गत सखुआ गांव की तस्वीर भी कुछ ऐसी ही है. यहां नल जल योजना दम तोड़ चुकी है. सीएम नीतीश कुमार ने चार साल पहले सखुआ गांव को जो सौगात दी थी वो सब गायब हो चुका है।
बिहार के मुख्य मंत्री नितीश कुमार सखुआ गांव में 31 जनवरी 2017 को आये थे. यहां जिले में होने वाले सात निश्चय योजना पार्ट एक की शुरुआत हुई थी. मनरेगा के काम को बढ़ावा देना था. मुख्यमंत्री के आने के पहले जिला पदाधिकारी से लेकर सभी आला अधिकारियों ने स्थानीय मुखिया से मिलकर सखुआ गांव को एक आदर्श ग्राम के रुप में मिलकर स्थापित किया था. जनप्रतिनिधि और सरकार को जो योजना दी पर इसका संरक्षण ग्रामीणों को करना था. पर शरारती तत्वों ने इसे तहस-नहस कर दिया गया. अब पार्क में कुछ देखने लायक नही बचा हैं|
ग्रामीण जितेंद्र सिंह ने बताया कि हर घर मे शौचालय का निर्माण कराया गया था. गांव में दो वार्ड हैं दोनो वार्डो में नल-जल योजना के तहत टंकी और मोटर लगा कर हर घर तक नल का जल पहुंचाया गया था. लेकिन जैसे ही मुख्यमंत्री इस गांव से निकले वैसे ही गांव में सारी योजनाए दम तोड़नी लगी और आज हालात ये हैं कि गांव की सारी योजनाएं दम तोड़ चुकी हैं.’बरसात की कौन कहे, किसी भी सीजन में इस गांव में सड़क पर कीचड़ मिलेगा. पैदल अपने घर तक सही तरीके से नहीं जा सकते. सड़कों पर नाली का पानी बहता है।
गाँव की कुंती देवी ने बताया कि चार साल बीत जाने के बाद गांव में शुरू की गई सारी योजनाएं पूरी तरह से बर्बाद हो चुकी है. योजना के तहत सखुआ गांव में 44 लाख 80 हजार रुपये की लागत से व्यापक स्तर पर विकास हुआ था. जिसमें ग्रामीणों को टहलने और बैठने के लिए 7 लाख 12 हजार रुपये लगाकर हर्बल पार्क का निर्माण कराया गया था.सखुआ गांव को आदर्श ग्राम बनाने के लिए नली-गली बनाए गए लेकिन आज की परिस्थिति ऐसी है कि गांव के अंदर सभी नालियां सड़क पर बहती हैं. गांव में लोगों का चलना मुश्किल हो गया है।
नल-जल योजना के लिए सखुआ गांव में 33 लाख 30 हजार रुपये की लागत से वार्ड नम्बर 9 और 10 में पानी टंकी की मीनार बनवा कर टंकी बैठाई गयी थी. बिजली से चलने वाला मोटर लगाया गया. हर घर तक पाइप लगाकर नल पहुंचाया गया. लेकिन आज वार्ड नम्बर 10 की टंकी आंधी में उड़ गयी. वार्ड 10 की नल-जल योजना सालो से बंद है. वहीं वार्ड नम्बर नौ में मोटर जल जाने के कारण नल-जल योजना बंद है। नीतीश कुमार के आने से पहले गांव में पदाधिकारियों का आने जाने का सिलसिला जारी था. उद्घाटन होने के बाद एक बार भी कोई पदाधिकारी देखने नहीं आया कि योजनाओं का क्या हाल है।
ग्रामीण जय मंगल कुमार ने बताया कि सखुआ गाव में मनरेगा द्वारा पहली बार हर्बल पार्क का निर्माण कराया गया, जो विशेष आकर्षण का केन्द्र बना. औषधीय पौधों एंव फूलों से सुसज्जित यह पार्क बड़ी नहर के किनारे बनाया गया था. पार्क में लोगो के तौर पर मुख्यमंत्री के सात निश्चय को रेखांकित किया गया था. सीएम ने गांव का निरीक्षण 2017 में किया. उसके बाद से जिले का कोई भी अधिकारी इस गांव में नहीं आया ना ही योजनाओं की समीक्षा ही की. हर्बल पार्क के लिए 7 लाख 12 हजार, वार्ड 9 और 10 व नल जल योजना के लिए 33 लाख 30 हजार और सूअर के शेड के लिए 4 लाख 37 हजार दिया गया था. गांव की कुल आबादी 4000 है।
पार्क बनाने के लिए मनरेगा के तहत मजदूरों को लगाया गया था.काफी समय तक सखुआ गांव का नाम जिले में चर्चा का विषय बना रहा पर आज नाम का आदर्श ग्राम है. ग्रामीणों की परेशानी चरम पर है. कोई अधिकारी इस गांव का हाल देखने तक नहीं आता. ऐसे में सवाल उठता है कि सीएम के सपनों के गांव के इस हाल का जिम्मेदार कौन है. क्यों आजतक किसी भी अधिकारी की इस पर नजर नहीं गई. सीएम के जाते ही लोगों का सपना चकनाचूर हो गया.
आदर्श गांव में उन्नत कृषि व्यवस्था, आवासीय सुविधाएं, पेयजल व्यवस्था, स्वास्थ्य सम्बन्धी सुविधाएं, शिक्षा व्यवस्था, परिवहन सविधाएं, संचार सुविधाएं, ऊर्जा एवं पर्यावरण जागरूकता, औद्योगिक विकास और वित्तीय सुविधा होनी चाहिए. तभी एक गांव आदर्श ग्राम कहलाता है. सखुआ गांव को यह सारी सुविधाएं दी गई थी. ग्रामीण इससे बेहद खुश भी थे। लेकिन ग्रामीणों की ये खुशी ज्यादा समय तक नहीं रही. अब यह गांव बुनियादी सुविधाओं के लिए बाट जोह रहा है।
घर लौट रही महिला की बाइक से गिरकर मौत
आरा : भोजुपुर जिला मुख्यालय आरा के नवादा थानान्तर्गत चंदवा मोड़ के समीप गुरुवार की शाम बाइक से गिरकर एक महिला की मौत हो गई। इलाज के लिए सदर अस्पताल लाने के दौरान उसने रास्ते में ही दम तोड़ दिया। मृतका बक्सर जिला के ब्रह्मपुर थानान्तर्गत गरहथा गांव निवासी शिवजी सिंह की 50 वर्षीया पत्नी कुसुम देवी है। मृतका के परिजनों ने बताया कि चार दिन पूर्व वह भोजपुर जिला के नवादा थानान्तर्गत गोढना रोड स्थित बंगला कॉलोनी में अपनी बेटी की ससुराल आई थी।
जब वह अपनी बेटी के देवर के साथ बाइक से वापस घर लौट रही थी तभी चंदवा मोड़ के समीप वह असंतुलित होकर बाइक से गिर पड़ी। सर में चोट लगने से वह गंभीर रूप से जख्मी हो गई। उन्हें इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया जा रहा था तभी उन्होंने रास्ते में ही दम तोड़ दिया। बावजूद इसके परिजन उन्हें सदर अस्पताल ले आये। जहां ऑन ड्यूटी चिकित्सक डॉ.अरुण कुमार ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
आहर में डूबने से किशोर की मौत
आरा : भोजपुर जिला के उदवंतनगर थानान्तर्गत खलिसा गांव में आहर में डूबने से एक किशोर की मौत हो गई। मृतक नारायणपुर थानान्तर्गत वरुणा गांव निवासी जटा राम का 12 वर्षीय पुत्र विमलेश राम है। मृतक के परिजन ने बताया कि वह चार दिन पूर्व उदवंतनगर थानान्तर्गत खलिसा गांव अपने मामा के घर आया था। सुबह जब वह शौच के लिए बधार में गया था जहां पर वह पानी छूने के लिए आहर के पास गया था तभी उसका पैर फिसल गया और वह आहार में डूब गया।
ग्रामीणों के सहयोग से शव को पानी से बाहर निकाला गया। जिसके बाद उसे इलाज के लिए आरा सदर अस्पताल लाया जा रहा था। तभी उसने रास्ते में ही दम तोड़ दिया। बावजूद इसके परिजन उसे सदर अस्पताल ले आये। जहां चिकित्सक देख उसे मृत घोषित कर दिया। इसके बाद परिजनों ने इसकी सूचना उदवंतनगर थाना पुलिस को दी।सूचना मिलते ही पुलिस सदर अस्पताल पहुंची और शव को अपने कब्जे में लेकर उसका पोस्टमार्टम करवाया।
प्रथम पुण्यतिथि पर श्रधांजलि सभा
आरा : -वीर कुअर सिंह विश्वविद्यालय के पूर्व सीनेटर अजय कुमार तिवारी उर्फ़ मुनमुन तिवारी की माँ शैलरानी तिवारी की प्रथम पुण्यतिथि उनके आवास पर मनाया। सबसे पहले वैदिक उंच्चारण के साथ पूजा पाठ से हुआ फिर उनके तैलचित्र पर पुष्पांजलि अर्पित की गयी। उसके बाद साधु संत को जलपान कराकर अंगवस्त्र दे कर आशीवाद लिया गया।
कायक्रम में डाँक्टर प्रवीण कुमार तिवारी, डाँक्टर दीक्षा तिवारी, डाँक्टर नेहा तिवारी, अजय कुमार तिवारी मुनमुन सहित अन्य लोगों उपस्थित थे। कोरोना गाइडलाइन्स का पालन करते हुए सैकड़ों लोगों ने अपनी भावभीनी श्रद्धांजलि मोबाइल के माध्यम से अर्पित की|
भोजपुर जिला पदाधिकारी एवं आरक्षी अधीक्षक ने की बैठक, दिए कई निर्देश
आरा : जिलाधिकारी, भोजपुर रौशन कुशवाहा एवं पुलिस अधीक्षक, भोजपुर विनय तिवारी ने सभी अनुमंडल पदाधिकारी, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, उपसमाहर्ता भूमि सुधार, प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी एवं थानाध्यक्षों के साथ विडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक कर कई निर्देश दिया| पदाधिकारी द्वय ने कहा कि अंगीभूत डिग्री महाविद्यालय की स्थापना हेतु भूमि का चयन – भोजपुर जिलान्तर्गत पीरो अनुमंडल में अंगीभूत डिग्री महाविद्यालय संचालित नहीं है। इस संदर्भ में अंगीभूत डिग्री महाविद्यालय की स्थापना हेतु भूमि का चयन कर प्रस्ताव भेजने का निदेश अंचलाधिकारी, पीरो एवं अनुमंडल पदाधिकारी, पीरो को दिया गया।
फायर स्टेशन हेतु भूमि का चयन-भोजपुर जिलान्तर्गत पीरो एवं जगदीशपुर अनुमंडल में फायर स्टेशन बनाने हेतु भूमि का चयन कर प्रस्ताव उपलब्ध कराने का निदेश अंचलाधिकारी, जगदीशपुर एवं पीरो को दिया गया। साथ ही अनुमंडल पदाधिकारी, जगदीशपुर एवं पीरो को निदेश दिया गया कि अविलंब फायर स्टेशन हेतु भूमि का चयन करते हुए प्रस्ताव अनुशंसा के साथ उपलब्ध करायेंगे।
मार्डन अभिलेखागार का संचालन – जिलाधिकारी, भोजपुर के द्वारा सभी अंचलाधिकारियों को अवगत कराया गया कि मार्डन अभिलेखागार का सामान सभी अंचलों में जल्द ही उपलब्ध कराया जा रहा है। इस हेतु सभी अंचलाधिकारियों एवं उपसमाहत्र्ता भूमि सुधार को निदेश दिया गया कि मार्डन अभिलेखागार के संचालन हेतु भवन चिन्ह्ति करना सुनिश्चित करेंगे तथा यदि भवन में मरम्मति की आवश्यकता हो, तो उसे अविलंब कराना सुनिश्चित करेंगे।
सभी अंचलाधिकारियों को निदेश दिया गया कि अपने-अपने अंचल क्षेत्रांतर्गत मंदिरों के घेराबंदी हेतु अविलंब सूची तैयार करते हुए प्रतिवेदन उपलब्ध करायेंगे, ताकि जिला स्तर पर प्राथमिकता सूची तैयार कर मंदिरों की घेराबंदी करायी जा सके। ख्वासपुर एवं बबुरा थाना के निर्माण हेतु भूमि का चयन – अंचलाधिकारी, बड़हरा को निदेश दिया गया कि ख्वासपुर एवं बबुरा थाना के निर्माण हेतु भूमि का चयन करते हुए उपसमाहत्र्ता भूमि सुधार के माध्यम से प्रस्ताव उपलब्ध कराना सुनिश्चित करेंगे, ताकि अविलंब थाना भवन का निर्माण कार्य पूर्ण कराया जा सके।
जिलाधिकारी, भोजपुर के द्वारा बताया गया कि गंगा नदी का जल-स्तर तेजी से बढ़ रहा है। नदी के जल स्तर पर बढ़ोत्तरी के कारण बाढ़ की संभावना बनी हुई है। अतएव सभी संबंधित अंचलाधिकारियों को निदेश दिया गया कि संभावित बाढ़ के मद्देनजर सभी आवश्यक तैयारी करना सुनिश्चित करेंगे, ताकि बाढ़ की स्थिति में त्वरित कार्रवाई की जा सके।
श्रावणी मेला के अवसर पर विधि व्यवस्था के संबंध में निदेश – जिलाधिकारी, भोजपुर एवं पुलिस अधीक्षक, भोजपुर के द्वारा सभी पदाधिकारियों को बताया गया कि कोविड-19 महामारी के प्रकोप को रोकने के उद्देश्य से सभी धार्मिक स्थलों में पूजा पर रोक लगायी गयी है। साथ ही यह भी बताया गया कि दिनांक 25.07.2021 से श्रावणी मेला का प्रारंभ होगा । इस अवसर पर प्रत्येक सोमवार को काफी संख्या में लोग मंदिरों में जशिवालय एवं देवालय पर जल चढ़ाते है।
चूँकि कोविड-19 महामारी के कारण सभी धार्मिक स्थल पर आम लोगों को पूजा करने पर रोक है, अतएव सभी अनुमंडल पदाधिकारियों, अनुमंडल पुलिस पदाधिकारियों, अंचलाधिकारियों एवं थानाध्यक्षों को निदेश दिया गया कि अपने-अपने क्षेत्रांतर्गत सभी मंदिरों में आम लोगों के पूजा करने पर रोक लगाना सुनिश्चित करेंगे।
अपने-अपने क्षेत्रांतर्गत सभी छोटे-बड़े मंदिरों (शिवालय / देवालय) की सूची तैयार करते हुए पदाधिकारियों / चैकीदार / कर्मियों की प्रतिनियुक्ति करना सुनिश्चित करेंगे, अपने-अपने क्षेत्रांतर्गत स्थानीय जन प्रतिनिधियों, गणमान्य व्यक्तियों एवं मंदिरों के पुजारियों के साथ बैठक करते हुए उन्हें अवगत करायेंगे कि वे आम लोगों को बतायें कि आम लोगों को मंदिर में पूजा करने अभी नहीं आना है, मंदिरों के आस पास किसी भी प्रकार के दुकान नहीं लगाने देंगे, माईक के माध्यम से प्रचार-प्रसार करायेंगे कि सभी लोग अपने-अपने घरों में पूजा करें। जिलाधिकारी, भोजपुर के द्वारा सभी प्रखंड विकास पदाधिकारियों को निदेश दिया गया कि पंचायत चुनाव के निमित्त मतदान केन्द्रों / भवनों का निरीक्षण करना सुनिश्चित करेंगे।
जिला पदाधिकारी ने बैठक कर दिए कई निर्देश
आरा : जिलाधिकारी, भोजपुर रौशन कुशवाहा ने जिला सहकारिता पदाधिकारी, भोजपुर, जिला प्रबंधक, राज्य खाद्य निगम, भोजपुर के साथ सी॰एम॰आर॰ प्राप्ति की समीक्षा की गयी एवं कई निदेश दिये। जिलाधिकारी ने समीक्षा में जिला प्रबंधक, राज्य खाद्य निगम, भोजपुर के द्वारा बताया गया कि वर्ष 2020-21 के खरीफ मौसम में सभी पैक्सों द्वारा क्रय किये गये धान के विरूद्ध कुल 198.17 लाट समतुल्य चावल प्राप्त होना शेष है। जिलाधिकारी, भोजपुर के द्वारा बताया गया कि दिनांक 31.07.2021 तक चावल प्राप्त करने की अंतिम तिथि है, जिसकी अवधि विस्तार होने की संभावना नहीं है।
जिन पैक्सों के द्वारा दिनांक 31.07.2021 तक क्रय किये गये धान के समतुल्य चावल राज्य खाद्य निगम को उपलब्ध नहीं कराया जायेगा, उनका चावल Laps कर जायेगा. कुल 162 पैक्सों के माध्यम से धान का क्रय किया गया था उसमें से 78 पैक्सों के द्वारा शत-प्रतिशत चावल जमा करा दिया गया है. 39 पैक्स ऐसे हैं जिनके द्वारा 02 लाट से अधिक चावल पहुचाना शेष है। जिन पैक्सों के पास सबसे ज्यादा चावल पहुचाना शेष है, वे निम्न् है –
चांसी पैक्स – अगिआंव, बेलाउर पैक्स – उदवंतनगर, शंकरडीह पैक्स – तरारी, असनी पैक्स – उदवंतनगर, खड़ाव चतुर्भुज पैक्स – सहार, सहार पैक्स – सहार, ईचरी पैक्स – गड़हनी, हरिगांव पैक्स – जगदीशपुर, भकुरा पैक्स – तरारी, सियाडीह पैक्स – चरपोखरी जिला सहकारिता पदाधिकारी, भोजपुर को निदेश दिया गया कि इन सभी पैक्सों से संबद्ध राईस मिल से संपर्क स्थापित करते हुए दिनांक 28.07.2021 तक हर हालत में चावल जमा कराना सुनिश्चित करायेंगे ।
सभी प्रखंड सहकारिता पदाधिकारियों को भी निदेश दिया गया कि जितना भी लंबित चावल आना बाकी है, वैसे मिल एवं पैक्स का भौतिक सत्यापन करना सुनिश्चित करेंगे एवं प्रतिवेदन उपलब्ध करायेंगे कि किस परिस्थिति में अब तक क्रय किये गये धान के समतुल्य चावल राज्य खाद्य निगम में उपलब्ध नहीं कराया गया। जांच में यदि यह पाया जाता है कि मिल में या गोदाम में धान/चावल की मात्रा में विसंगति है तो अविलंब मामले को संज्ञान में लाते हुए संबंधित पैक्स अध्यक्ष / राईस मिलर के विरूद्ध प्रतिवेदन देना सुनिश्चित करेंगे।
दिनांक 31.07.2021 तक यदि किसी भी पैक्स का धान के समतुल्य चावल नहीं जमा होता है तो संबंधित पैक्स के विरूद्ध नियमानुसार प्राथमिकी दर्ज करते हुए नीलाम पत्र वाद भी दायर करना सुनिश्चित करेंगे। यदि किसी पैक्स / राईस मिलर के द्वारा धान के समतुल्य चावल उपलब्ध नहीं कराया जाता है तो संबंधित प्रखंड सहकारिता पदाधिकारियों के विरूद्ध भी कार्रवाई की जायेगी। जिला प्रबंधक, राज्य खाद्य निगम, भोजपुर को निदेश दिया गया कि गोदाम को अतिरिक्त अवधि में खोलवाना सुनिश्चित करेंगे। साथ ही जो भी ट्रक आ रहा है उन सभी का सामान उसी दिन उतरवाना सुनिश्चित करायेंगे।
वर्षों से बंद पड़ा है भकुरा प्राथमिक उप स्वास्थ्य केन्द्र- क्यामुद्दीन अंसारी
आरा : भाकपा माले राज्य कमिटी सदस्य व आरा विधानसभा के पूर्व प्रत्याशी क्यामुद्दीन अंसारी ने बताया कि भाकपा माले की टीम भकुरा प्राथमिक उप स्वास्थ्य केन्द्र का निरिक्षण करने सुबह दस बजे पहुंची भकुरा। भकुरा उप स्वास्थ्य केन्द्र के निरिक्षण मे टीम ने पाया की इस उप स्वास्थ्य केन्द्र के चारों तरह गंदगी है गोबर ईट गेट के दोनों तरफ है।
भकुरा उप स्वास्थ्य केन्द्र पर ताला जड़ा हुआ है कोई स्वास्थ्य कर्मी इस स्वास्थ्य केन्द्र पर ड्यूटी मे नहीं मिले। आप देख सकते है कि इस उप स्वास्थ्य केन्द्र के दो कमरों मे जीवन रक्षक दवा और बेड़ की जगह बिजली विभाग के ठेकेदार बिजली के तार व बिजली उपकरण रखे हुए है ।स्थानिय लोगों से पुछने पर पत्ता चला की दस वर्षों से ज्यादा समय से यहाँ स्वास्थ्य केन्द्र पर कोई स्वास्थ्य कर्मी नहीं आते ।स्वास्थ्य विभाग मे सिकायत करने पर कोई सुनता नहीं है।
निरिक्षण टीम का नेतृत्व कर रहे आरा विधानसभा के महागठबंधन समर्थीत भाकपा माले प्रत्याशी क्यामुद्दीन अंसारी ने कहा कि नीतीश सरकार मे पुरे बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था ध्वस्त हो चुकी है भकुरा सहीत गंगहर,महुली,खजुरियां,वगैरह पंचायतों के उप स्वास्थ्य केन्द्र बंद है जिसे सुधारने की जरुरत है क्यामुद्दीन अंसारी ने कहा कि आरा के स्थानिय विधायक सह मंत्री अमरेन्द्र प्रताप सिंह व सांसद सह मंत्री आर के सिंह यहां झांकी मारने तक नहीं आते है।
क्यामुद्दीन अंसारी ने कहा कि भाजपा-जद यू सरकार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बिहार के स्वास्थ्य व्यवस्था को ठीक करने का ढोंग पिटते है पर जमीनी हकिकत यह है कि बिहार के स्वास्थ्य व्यवस्था ध्वस्त होने की दास्ता ब्यान कर रहा है भकुरा प्राथमिक उप स्वास्थ्य केन्द्र। भाकपा माले नेता क्यामुद्दीन अंसारी ने कहा की इन बदहाल स्वास्थ्य उप केन्द्रो को सुचारु ढंग संचालन हेतू कल आरा सदर प्रखंड के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पर प्रदर्शन किया जायेगा और आरा विधानसभा अंतर्गत सभी बदहाल उप केन्द्रों का मुद्दा उठाया जायेगा,उन्होने कहा कि ऐसे बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था से कोरोना के तिसरी लहर से मुकाबला नहीं किया जा सकता। हम कह सकते है कि कोरोना के दूसरे वेभ मे बड़ी संख्या मे लोगों की मौत का कारण बिहार की ध्वस्त स्वास्थ्य व्यवस्था ही रही है।
राजीव एन० अग्रवाल की रिपोर्ट