तीन दिनों से लापता माले समर्थक का मिला शव, रोड जाम
आरा : भोजपुर जिले के अजीमाबाद थानान्तर्गत चिल्हर गाँव में धान के खेत से में तीन दिनों से लापता माले समर्थक अधेड़ का शव आज सुबह बरामद हुआ है। घटना से आक्रोशित माले कार्यकर्ताओं और ग्रामीणों ने अजीमाबाद थाना क्षेत्र के किरकिरी के समीप सकड़ी-नासरीगंज स्टेट हाईवे को जाम कर दिया है। मृतक के स्वजन हत्या की आशंका जता रहे हैं। वे हत्यारों की गिरफ्तारी तथा मुआवजे के मांग कर रहे थे| आक्रोशित कार्यकर्ता अजीमाबाद थानाध्यक्ष के तबादले की मांग भी कर रहे थे| अपराधियों ने नेमू लाल की उंगलियां काट दी है तथा उनका चेहरा क्षत-विक्षत करते हुए बधार में शव को फेंक दिया| पर हत्या के मामले में पुलिस अब तक कुछ नहीं कर पायी है, जिसके कारण लोगों का गुस्सा फूट पड़ा और वे लगातार थानाध्यक्ष के तबादले और अपराधियों की गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं।
पुलिस घटनास्थल पर पहुंचकर छानबीन में जुट गई है। मृतक किरकिरी पंचायत के चिलहर गांव निवासी जीराखन राम का पुत्र नेमूलाल मूसहर हैं हालांकि हत्या कैसे की गई है। इसका पता नहीं चल पा रहा है। बताया जा रहा है कि नेमुलाल मुसहर बुधवार से ही घर से लापता था| स्वजन लगातार उनकी खोज कर रहे थे तभी आज सुबह कृषि कार्य के लिए जा रहे ग्रामीणों ने अधेड़ का शव धान के खेत में देखा| समाचार लिखे जाने तक सड़क जाम नही हटा था|
सुबह में शव मिलते ही भाकपा-माले के नेतृत्व में शव के साथ सैकड़ो जनता सड़क पर उतरी । अजीमाबाद-सकड्डी-नासरीगंज पथ किया जाम । घटनास्थल पर बीडीओ,सीओ,डीएसपी,इंस्पेक्टर पहुँच चुके हैं । SP को धरनास्थल पर बुलाने की मांग पर अड़ी जनता । उंगलियां काट दी गयी है,चेहरे पर तेजाब डाला गया है,चेहरे को पत्थर से कुचला गया है,घटना स्थल पर कटा अंगूठा मिला है । काफी क्रूरता पूर्वक हत्या की गयी है ।
विधायक मनोज मंजिल ने कहा कि कल सुबह 9 बजे ही अजीमाबाद थाना को गुमसुदगी की सूचना दी गयी थी,रात में FIR दर्ज भी कराने गए थे परिजन लेकिन थानाध्यक्ष द्वारा नहीं लिया गया FIR थानाध्यक्ष के गैरजिम्मेदाराना रवैये के चलते गई नेमु लाल मांझी की जान गयी है। अजीमाबाद थानाध्यक्ष को बर्खास्त करो। कॉमरेड मनोज मंज़िल ने कहा कि कॉमरेड नेमुलाल जी की एक हत्या राजनैतिक हत्या है ।
कॉमरेड नेमुलाल अजीमाबाद में सड़क पर स्कूल आन्दोल में अगुआई भमिका में थे । अजीमाबाद नहर में पानी के सवाल पर 36 घंटे आंदोलन चला था उसमें भी मुख्य नेतृत्वकर्ता थे ,अजीमाबाद-किरकिरी बालूघाट पर मजदूरों को काम देने के सवाल पर आंदोलन में अगुआई भूमिका में थे । विधानसभा चुनाव में अगुआई भूमिका अदा किये थे ।
कॉमरेड नेमुलाल जैसे गरीबों की लड़ाई लड़ने वाले नेता की बदौलत ही आज मैं विधानसभा पहुंचा हूँ । सामंती ताकतें सोंचती है कि नेमुलाल जी की हत्या करके गरीबों की आवाज, गरीबो की बढ़ती राजनैतिक दावेदारी को रोक देंगे,लेकिन उनकी हत्या में उतनी ताकत नहीं है कि गरीबो की बढ़ती राजनैतिक दावेदारी को रोक सके । जितनी भी शहादतें हुई है,लड़ाइयां लड़ी गई है,सामंती-साम्प्रदायिक ताकतें सोचती हैं कि दो चार नेताओं की हत्या करके गरीबों की आवाज को दबा देंगे, कॉमरेड नेमुलाल जी का चेहरा काटकर उनकी पहचान को नहीं मिटा सकते,नेमुलाल जी लोगों के दिलों में बसे हुए हैं,नेमुलाल जी अगिआंव, अजीमाबाद,चिलहर की मिट्टी में बसे हुए हैं।
सभा का संचालन करते हुए कॉमरेड दसई राम ने कहा कि कॉमरेड नेमुलाल मांझी की सहादत बेकार नहीं जाएगी,जनता हत्यारों को सबक सिखा कर दम लेगी।सभा की अध्यक्षता करते हुए कॉमरेड विष्णु मोहन ने कहा कि विधानसभा चुनाव में सतीश यादव की हत्या और अब पंचायत चुनाव में कॉमरेड नेमु मांझी की हत्या ये दर्शाता है कि सामंती-साम्प्रदायिक ताकतें गरीबों की बढ़ती एकता और राजनैतिक दावेदारी को रोकना चाहते हैं, जिसे जनता कभी कामयाब नहीं होने देगी ।
नेतृत्व करने वाले साथियों में अगिआंव विधायक कॉमरेड मनोज मंज़िल,विष्णु मोहन, दशई राम, सुनील पासवान, सहार प्रखंड सचिव उपेन्द्र राम, पोसवा पंचायत मुखिया प्रतिनिधि जयकुमार यादव,बड़गाँव मुखिया विनोद चौधरी, जितेंद्र यादव,शत्रुघ्न पासवान,भगीरथ राम,गोरख राम,नगेन्द्र साव,भूषण यादव,सुदय राम,गंगा राम,श्रीभगवान राम,रौशन कुशवाहा,रमेश यादव सहित दर्जनों नेता सहित हजारो जनता मौजूद हैं।
लूट गिरोह का मास्टर माइंड गिरफ्तार
आरा : भोजपुर जिला मुख्यालय आरा के नगर थानान्तर्गत गोपाली चौक स्थित ज्वेलरी शॉप डकैती कांड का मोस्ट वांटेड को पुलिस ने रात में गिरफ्तार कर लिया। वह पटना के फुलवारी शरीफ का रहने वाला शन्नी कुरैशी है। पुलिस उसे लूट गिरोह का सेकेंड मैन और मास्टर माइंड बता रही है।
भोजपुर एसपी विनय तिवारी ने बताया कि लूट कांड में शन्नी कुरैशी की बड़ी भूमिका थी। साथ ही आगे भी लूट की साजिश भी कर रहा था। कुछ दिन पहले भी इस मामले में बड़हरा इलाके के रहने वाले विष्णु कुमार को गिरफ्तार जेल भेज दिया गया था। इस लूटकांड में अबतक 13 अपराधियों की गिरफ्तारी हो चुकी है। जेवर भी बरामद कर लिये गये हैं। अब सिर्फ दो लुटेरों की तलाश है। जल्द ही उन दोनों को गिरफ्तार कर लिया जायेगा। एसपी ने बताया कि इस मामले में बहुत जल्द ही चार्जशीट सौंपी जायेगी। उसके बाद स्पीडी ट्रायल की कार्रवाई शुरू की जायेगी।
बता दें कि नौ अगस्त की शाम गोपाली चौक के पास शुक्ला मार्केट की दो ज्वेलरी शॉप पर धावा बोल लाखों के जेवर की लूट ली गयी थी। लेकिन पुलिस ने छह दिन के अंदर ही खुलासा करते हुये सरगना इमरान सहित 11 अपराधियों को गिरफ्तार कर लिया गया था। बाद में विष्णु कुमार और अब शन्नी कुरैशी को दबोच लिया गया। हालांकि इस मामले में अभी भी दो अपराधी फरार चल रहे हैं। इनमें बड़हरा और कोईलवर इलाके का रहने वाला आकाश और अन्नु शामिल हैं।
आरा शहर के गोपाली चौक स्थित सोने-चांदी की दुकान में डकैती मामले में पुलिस के हत्थे चढ़े शन्नी कुरैशी काफी चालाक व शातिर है। बताया जाता है कि घटना के कुछ दिन बाद पुलिस ने इस मामले में इमरान को गिरफ्तार कर लिया था। पुलिस टीम ने उस वक्त इमरान से शन्नी कुरैशी को मोबाइल से बात कराया, ताकि वह गिरफ्त में आ सके। हालांकि इस दौरान इमरान ने कोड वर्ड “सील” का प्रयोग कर शन्नी कुरैशी को सतर्क कर दिया। इसके बाद वह फतुहा की ओर भाग निकला और अपना मोबाइल बंद कर दिया। जब शन्नी कुरैशी गिरफ्त में आया तो पुलिस ने पूछताछ किया तो बताया कि हम लोग पुलिस द्वारा गिरफ्तार करने पर कोड वर्ड “सील” का प्रयोग करते हैं। इमरान ने भी अपनी गिरफ्तारी के बाद “सील” शब्द का प्रयोग बातचीत के दौरान कर दिया था। जिससे वह समझ गया था कि वह पुलिस के गिरफ्त में आ चुका है। इसके बाद वह भाग निकला।
आरा सीओ निलंबित
आरा : भोजपुर जिला मुख्यालय आरा में अंचलाधिकारी प्रवीण कुमार पाण्डेय को कार्य में लापरवाही को लेकर राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया|
बगैर अनुमति के मुख्यालय से बाहर रहने, समीक्षात्मक बैठक संबंधी प्रतिवेदन उपलब्ध नहीं कराने, कार्य में रुचि नहीं लेने, दाखिल खारिज वादों को लंबित रखने, बकरीद पर्व के मौके पर विधि व्यवस्था संधारण हेतु निर्गत जिला संयुक्त आदेश में दिए गए दिशा निर्देशों का अनुपालन नहीं करने, अनुपस्थित रहने, सरकारी और निजी मोबाइल बंद रखने जैसे कई गम्भीर आरोप आरा सदर अंचलाधिकारी प्रवीण कुमार पांडेय पर लगाए गए है।
यहाँ बताते चले कि आरा अंचलाधिकारी प्रवीण कुमार पाण्डेय बमुश्किल अपने कार्यालय में उपस्थित रहते हैं| कार्यालय में जाने पर उनके अधीनस्थ कर्मचारी कोई-न-कोई बहाना बना कर उनकी अनुपस्थिति को जायज बताने की कोशिश करते हैं|
जन आशीर्वाद यात्रा आयोजन समिति जवाब दें
आरा : भोजपुरी कला संरक्षण मोर्चा द्वारा विगत दिनों स्थानीय नागरी प्रचारिणी सभागार में जन आशीर्वाद यात्रा के अंतर्गत आयोजित बुद्धिजीवी संगोष्ठी में स्थानीय पारंपरिक लोक चित्रकला भोजपुरी पेंटिंग को नजरअंदाज कर मुख्य मंच पर मिथिला पेंटिंग को स्थान देने के विरोध में आज जय प्रकाश नारायण स्मारक के पास सांकेतिक प्रदर्शन किया गया।प्रदर्शन के दौरान विभिन्न तख्तियों पर लिखे स्लोगन के माध्यम से माननीय मंत्री सह स्थानीय सांसद महोदय से भोजपुरी पेंटिंग को सम्मान देने और भोजपुरिया लोगों की बात सुनने का भी अनुरोध किया गया।
सांकेतिक प्रदर्शन के दौरान मोर्चा के संयोजक भास्कर मिश्र ने कहा कि भोजपुरी भाषा और संस्कृति हमारे रग रग में स्थापित है।हमलोग किसी भी स्थिति में भोजपुरी संस्कृति और भाषा का अपमान बर्दाश्त नहीं करेंगे।भोजपुरी पेंटिंग के साथ वर्षों से दोयम दर्जे का व्यवहार किया जा रहा है। एआईसीटीसी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता अशोक मानव ने कहा कि हमारी संस्कृति हमारी पहचान है।हमारी संस्कृति का अपमान समस्त विश्व में फैले भोजपुरिया लोगों का अपमान है।अगर कोई भी राजनीतिक दल या संगठन भोजपुरी भाषा और संस्कृति को अपमानित करने का दुस्साहस करेगा तो उसका बहिष्कार किया जाएगा।वरिष्ठ चित्रकार सह उपसंयोजक विजय मेहता ने कहा कि भोजपुरी पेंटिंग का सौंदर्य अद्वितीय है।कला समीक्षकों द्वारा भी राष्ट्रीय स्तर पर इसे सराहा जा रहा है।
ज्ञातव्य है कि भोजपुरी कला संरक्षण मोर्चा द्वारा विगत दिनों आरा रेलवे स्टेशन पर भोजपुरी पेंटिंग के लिए 39 दिनों तक सांस्कृतिक आंदोलन चलाया गया था। तत्पश्चात पूर्व मध्य रेलवे द्वारा आरा रेलवे स्टेशन पर भोजपुरी पेंटिंग को सम्मानजनक स्थान दिया गया। मोर्चा के कोषाध्यक्ष सह चित्रकार कमलेश कुंदन ने कहा कि आरा रेलवे स्टेशन पर आयोजित धरना प्रदर्शन में भाजपा के वैसे अनेक नेता सम्मिलित हुए थे जो इस संगोष्ठी में भी शामिल थे।उन्होंने कैसे भोजपुरी पेंटिंग का अपमान बर्दाश्त कर लिया,यह सोचनीय बिन्दु है।रंगकर्मी संजय नाथ पाल ने कहा कि यही वे लोग थें जिन्होंने आंदोलन के दौरान बड़ी बड़ी बातें की थीं। इससे यह स्पष्ट हो रहा है कि उन्हें अपनी लोकसंस्कृति से थोड़ा भी प्रेम नहीं है और आंदोलन में केवल अखबार में छपने के लिए आ रहे थे।सांकेतिक प्रदर्शन में अमित राज,मनोज श्रीवास्तव,डॉ अनिल सिंह,बिरेन्द्र कुमार ओझा,मनोज कुमार सिंह,गुंजय श्रीवास्तव आदि उपस्थित थे।