पटना : बिहार में बढ़ते कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए नाईट कर्फ्यू लगाने का फैसला लिया है। बिहार में रात 9 बजे से लेकर सुबह 5 बजे तक कर्फ्यू लगाने का फैसला किया है। वहीं सरकार के इस फैसले पर पक्ष से लेकर विपक्ष तक ने एतराज जताया है।
राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने नाइट कर्फ्यू के फैसले को अजीबोगरीब फैसला बताया है। मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि इसे लेकर अब तो बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल भी सरकार पर सवाल खड़े कर रहे हैं। ऐसे में नाइट कर्फ्यू लगाना समझ से परे है।
मृत्युंजय तिवारी ने यह भी कहा कि कोरोना की अनियंत्रित स्थिति को देखते हुए नेता प्रतिपक्ष ने सरकार को वीकेंड लॉकडाउन लगाने की सलाह दी थी। लेकिन उनकी सलाह को नजर अंदाज कर दिया गया। कोरोना के बढ़ते संक्रमण और चेन को तोड़ने के लिए नाइट कर्फ्यू लगाना कही से भी उचित नहीं है।
नाइट कर्फ्यू महानगरों में लगाई जाती है
वहीं कांग्रेस नेता अजित शर्मा ने भी सरकार के इस फैसले को हास्यास्पद बताया। उन्होंने कहा कि नाइट कर्फ्यू मुंबई, दिल्ली जैसे महानगरों में लगाई जाती है जहां लोग रात में घर से बाहर निकलते है लेकिन बिहार में नाइट कर्फ्यू का कोई मतलब नहीं है। बिहार में तो लोग रात में घर से बाहर निकलते ही नहीं है। ऐसे में नाइट कर्फ्यू लगाए जाने का फैसला बिलकुल गलत है।
उन्होंने इस निर्णय को जनता के आंख में धुल झोकने के समान बताया। उन्होंने यह भी कहा कि यदि इसकी जगह हॉस्पिटल में बेड, ऑक्सीजन, एम्बुंलेस, सप्ताह में दो दिन कर्फ्यू लगाकर पूरे शहर को सेनेटाइज किया जाता तो वह सही होता।
बहरहाल , देखना यह है कि नाइट कर्फ्यू को लेकर फंसी नीतीश सरकार क्या अपने फैसले में परिवर्तन करती है या नहीं और यदि परिवर्तन करती है तो क्या इस बार एक बार फिर से सर्वदलीय बैठक की जाएगी या फिर सीधा विक एंड कर्फ्यू का ऐलान किया जाएगा।