कोरोना के बहाने जेल से छुटकारा चाहते थे लालू, लगा पैरोल का झटका
रांची:पटना : राजद सुप्रीमो लालू यादव कोरोना के बहाने पैरोल पर जेल से बाहर आना चाह रहे थे, लेकिन उनकी उम्मीदों को तगड़ा झटका देते हुए सरकार ने पैरोल की शर्त ही ऐसी रख दी जिससे वे बाहर आने के लिए अयोग्य हो गए। झारखंड की जेलों में कोरोना संक्रमण न फैले, इसके लिए एक उच्च स्तरीय बैठक में यह तय हुआ कि आर्थिक आपराधिक और सात साल से ज्यादा सजा वालों को पैरोल नहीं दी जाएगी। वहीं गंभीर आपराधिक मामलों को छोड़ सात साल से कम सजा वाले कैदियों की पैरोल का विरोध सरकार कोर्ट में नहीं करेगी और ऐसे मामलों में संबंधित कोर्ट ही निर्णय ले सकती है ।
जेल से बाहर निकलने की उम्मीद खत्म
कोरोना के प्रसार के साथ लालू यादव ने पैरोल पर बाहर आने की उम्मीद भरी अर्जी लगाई थी। लेकिन इस उच्च स्तरीय बैठक के बाद लालू प्रसाद के पैरोल पर चल रहा संशय भी थम गया है। आर्थिक अपराध का आरोपी होने के कारण लालू प्रसाद को पैरोल नहीं मिल पाएगा। बैठक में हाईकोर्ट के जस्टिस एससी मिश्रा, मुख्य सचिव सुखदेव सिंह, जेल आईजी शशि रंजन व डालसा के सचिव मौजूद थे।
सुप्रीम कोर्ट के मानदंड पर खरा नहीं उतरे
झारखंड के जेल आईजी शशि रंजन ने बताया की कोरोना को लेकर जेलों में भीड़ को देखते हुए , सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया था की सात साल से कम सजा वाले कैदियों को पैरोल पर छोड़ा जाए। ताकि इस महामारी को फैलने से रोका जा सके। लेकिन लालू यादव इन शर्तों को पूरा नहीं करते, इसलिए वे फिलहाल जेल में ही रहेंगे।1