पटना : कोरोना वायरस लॉकडाउन के बीच सनातन धर्मावलंबी आज रामनवमी और चैत्र नवरात्र का त्योहार अपने—अपने घरों में ही मना रहे हैं। इस बार रामनवमी पर निकलने वाली सभी शोभायात्राओं पर कोरोना के कारण पाबंदी है। लेकिन श्रद्धालुओं का उत्साह उसी तरह चरम पर है। बिहार की राजधानी पटना में लोग अपने घरों पर ही रामनवमी की ध्वजा लगा रहे हैं एवं पूजन कर रहे हैं। पटना के लोगों का कहना है कि—’भगवान विष्णु के सातवें अवतार मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम कोरोना के दानव का अंत करेंगे। इसलिए हम सभी को जय श्रीराम कहना है, लेकिन अपने—अपने घर पर ही रहना है’।
अमृत सिद्धि योग, लेकिन भगवान भी हो गए लॉक
रामनवमी का पर्व जन्म दिवस के रूप में मनाया जाता है। भगवान राम का जन्म चैत्र शुक्ल नवमी तिथि को पुनर्वसु नक्षत्र व कर्क लग्न में हुआ था। राम नवमी के दिन सूर्य को जल अर्पण करने से लाभ होता है। चैत्र नवरात्र करने वाले श्रद्धालु इसी दिन कन्या पूजन, हवन और पुष्पांजलि भी करेंगे। गुरुवार को दोपहर के समय सुयोग के साथ सर्वार्थ अमृत सिद्धि योग, गुरु-पुष्य योग तथा सर्वार्थ सिद्धि योग के साथ-साथ कर्क लग्न, कर्क राशि के साथ सूर्य तथा गुरु की उत्तम स्थिति में पूजा- पाठ, भक्ति, आराधना, सतसंग व मनोकामना पूर्ति के लिए भगवान राम का जन्मोत्सव मनाना काफी शुभकर है।
बिहार के सभी मंदिरों के बाहर सुरक्षा बल तैनात
घर-घर रामनवमी, हर-घर रामनवमी, जय श्री राम का कहना है घर में ही रहना है…। श्री रामनवमी शाेभायात्रा अभिनंदन समिति ने पटना में लोगों से रामनवमी पर घर से नहीं निकलने की अपील की है। पटना के महावीर मंदिर समेत सभी मंदिराें में भक्ताें की गैरमाैजूदगी में रामनवमी की पूजा हो रही है। महावीर मंदिर ट्रस्ट के सचिव आचार्य किशाेर कुणाल ने रामनवमी पूजा में भाग लेने के लिए पास मांगा था। लेकिन प्रशासन ने उन्हें पास नहीं दिया। इस स्थिति में महावीर मंदिर में रहने वाले अयाेध्या के वैरागी साधु रामनवमी की पूजा करेंगे। महावीर मंदिर जाने वाले रास्ते को बंद कर दिया गया है। मंदिर के बाहर पुलिस बल की तैनाती की गई है। इस मंदिर में रामनवमी के दिन लाखों की भीड़ जुटती थी। भक्तों की लाइन कई किलोमीटर लंबी हो जाती थी। इसी तरह बड़ी पटनदेवी, छोटी पटनदेवी, अगमकुआं मंदिर और पटना सिटी के जल्ला महावीर मंदिर को भी आम श्रद्धालुओं के लिए बंद रखा गया है।