जीते जी बशिष्ठ बाबू के लिए कुछ किया नहीं, मरे तो ऐंबुलेंस भी न दे सकी सरकार!
पटना : महान गणितज्ञ और बिहार के गौरव वशिष्ठ नारायण सिंह अब नहीं रहे। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किये जाने की घोषणा की। लेकिन विडंबना देखिये कि जब वे जीवित थे, तब राज्य सरकार उनके लिए कुछ नहीं कर पाई। आज गुरुवार को उनके निधन के बाद भी घंटों उनका शव उपेक्षित भाव से पीएमसीएच में रखा रहा। यहां तक कि पीएमसीएच ने उनके शव को ले जाने के लिए एक अदद एंबूलेंस की भी व्यवस्था नहीं की।
पैत्रिक गांव में राजकीय सम्मान से अंतिम संस्कार
जानकारी के अनुसार जब मीडिया में इससे जुड़ी बातें होने लगी, तब जाकर राज्य सरकार की नींद टूटी और सीएम भी उनके अंतिम दर्शन को कुल्हड़िया काम्प्लेक्स स्थित आवास पर पहुंचे। आनन—फानन में राजकीय सम्मान के साथ वशिष्ठ नारायण सिंह की अंत्येष्टि करने की घोषणा की गई।
पूरे मामले में सरकार ने पीएमसीएच से भी जानकारी मांगी है। वशिष्ठ नारायण सिंह के पार्थिव शरीर को पटना के कुल्हड़िया कॉम्पलेक्स स्थित उनके भाई के आवास पर रखा गया है। उनका अंतिम संस्कार भोजपुर जिले के पैत्रिक गांव बसंतपुर में किया जाएगा।