शिक्षा और शिक्षकों के साथ सरकार का क्रूर मजाक- राजद

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पटना : राजद के प्रदेश प्रवक्ता चित्तरंजन गगन ने कहा कि शिक्षा और शिक्षकों के प्रति सरकार की नियत ठीक नहीं है। शिक्षा और शिक्षक को मजाक का साधन बना कर रख दिया गया है। शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षक नियोजन सम्बन्धी शिड्यूल और नियोजित शिक्षकों के वेतन वृद्धि सम्बन्धी दो अधिसूचना जारी किया गया है। दोनो अधिसूचनाएं अधूरी है।

प्राथमिक शिक्षकों के नियुक्ती से सम्बन्धित जो अधिसूचना जारी किया गया है, उसमें शेष बचे पदों के लिए केवल काउंसिलिंग का शिड्यूल जारी किया गया है। नियुक्ती पत्र कब दिया जाएगा और नियुक्ती कब होगी, अधिसूचना में इसकी कोई चर्चा नहीं है। जिनका काउंसिलिंग हो चुका है उन्हें नियुक्ती पत्र कब दिया जायेगा, इसकी भी कोई चर्चा नहीं है। माध्यमिक और उच्च माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षक अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र देने के संबंध में सरकार पूर्णतः मौन है।

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राजद नेता ने कहा कि इसी प्रकार दूसरी अधिसूचना नियोजित शिक्षकों के लिए अगस्त 2020 मे लिये गये 15% वेतन वृद्धि की घोषणा को लागू करने से सम्बन्धित है। इस आदेश का क्या मतलब जब ऑनलाइन कैलकुलेटर बना ही नहीं है, ऐसे में वेतन वृद्धि कैसे होगा? नियोजित शिक्षकों के वेतन वृद्धि का सपना अधूरा हीं रह जाएगा। सरकार ने करीब 3.5 लाख शिक्षकों के मूल वेतन में 15 फीसदी वेतन वृद्धि का आदेश जारी किया है। 1 अप्रैल 2021 के प्रभाव से शिक्षकों को वेतन वृद्धि का लाभ मिलेगा, लेकिन बड़ी बात यह कि कई बार घोषणा के बावजूद अब तक सरकार में वह सॉफ्टवेयर तैयार ही नहीं कराया, जिसके जरिए शिक्षकों को वेतन वृद्धि का लाभ मिलेगा। शिक्षकों की पुरानी मांग है कि वेतन वृद्धि से पहले वेतन विसंगति दूर की जाए, उसके लिए भी सरकार ने अब तक कोई स्पष्ट आदेश जारी नहीं किया है।

गगन ने कहा कि अधिसूचना के अनुसार यदि 2021 से जुलाई महीने में मिलने वाले इंक्रीमेंट को सरकार नहीं देती है और सिर्फ जनवरी महीने में देती है, तो फिर जुलाई महीने वाले शिक्षकों का वेतन भविष्य में भी जनवरी वाले शिक्षकों के वेतन की तुलना में कम हो जाएगा। राजद प्रवक्ता ने सरकार की पे मैट्रिक्स संरचना को लेकर सवाल खड़े किए हैं और कहा है कि इससे शिक्षकों का नुकसान होगा।

1 अप्रैल के प्रभाव से तैयार पे मैट्रिक्स में शिक्षकों और पुस्तकालयाध्यक्षों का मूल वेतन निर्धारित होने के बाद वार्षिक वेतन वृद्धि जनवरी 2022 से देय होगा। अब तक साल में जनवरी और जुलाई में दो बार होने वाली विभिन्न शिक्षकों की वेतन वृद्धि अब साल में सिर्फ एक बार जनवरी महीने में ही होगी, ऐसे में अगर अप्रैल 2021 से वेतन वृद्धि का लाभ शिक्षकों को मिलेगा तो उन्हें वार्षिक वेतन वृद्धि जनवरी में मिलेगी ना कि जुलाई में और जुलाई वाले शिक्षकों को अगले वेतन वृद्धि के लिए जनवरी 2023 तक का इंतजार करना होगा। यही वजह है कि जुलाई में जिन शिक्षकों का वेतन वृद्धि देय है वे शिक्षक इस पर सवाल खड़े कर रहे हैं।

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